पीछे के रास्ते का अधिकारी व कर्मचारी करते रहे उपयोग
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हड़तालियों के कारण नगर पर्षद का मुख्य गेट रहा बंद
पीछे के रास्ते का अधिकारी व कर्मचारी करते रहे उपयोग स्थायी कर्मचारियों ने अस्थायी कर्मियाें को नहीं दिया प्रभार सासाराम कार्यालय : नगर पर्षद में हड़ताली कर्मचारियों द्वारा जानवरों के शव फेके जाने के बाद गुरूवार को कार्यालय के मेन गेट में दिन भर ताला बंद रहा. ऐसा नगर पर्षद प्रशासन ने ऐहतियात के तौर […]
स्थायी कर्मचारियों ने अस्थायी कर्मियाें को नहीं दिया प्रभार
सासाराम कार्यालय : नगर पर्षद में हड़ताली कर्मचारियों द्वारा जानवरों के शव फेके जाने के बाद गुरूवार को कार्यालय के मेन गेट में दिन भर ताला बंद रहा. ऐसा नगर पर्षद प्रशासन ने ऐहतियात के तौर पर किया था. ताकि हड़ताली कर्मचारी फिर कोई ऐसी हरकत न कर दे. शाम तक मुख्य गेट पर नगर पर्षद की पुलिस भी डटी रही. इस दौरान पदाधिकारी सहित अन्य कर्मी पीछे के रास्ते का इस्तेमाल करते रहे. बंद गेट पर हड़ताली कर्मचारी मंडराते रहे.इधर नगर कार्यपालक पदाधिकारी के आदेश का स्थायी लिपिकीय संवर्ग के कर्मचारियों पर कोई असर नहीं पड़ता दिखा. एक भी कर्मचारी ने अपना प्रभार अस्थायी कर्मचारी को नहीं सौंपा.
ज्ञातव्य हो कि 26 दिसंबर से छठा वेतनमान सहित अन्य मांगों को लेकर नगर पर्षद के स्थायी लिपिकीय संवर्ग के कर्मचारी व सफाई कर्मी हड़ताल पर हैं. हड़ताल के दौरान बुधवार की शाम कुछ कर्मियों ने कार्यालय परिसर में मृत पशुओं का शव फेंक दिया था. शव फेंके जाने की घटना पर संज्ञान लेते हुए नप प्रशासन ने सात कर्मचारियों के विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज करायी थी. जिसमें से एक कर्मचारी को पुलिस ने हिरासत में लेकर पूछताछ की थी. इसी कार्रवाई के मद्देनजर कर्मचारियों के प्रदर्शन की संभावना थी. इसके लिए सुबह से ही नगर पर्षद कार्यालय का मेनगेट बंद रखा गया था. इस संबंध में नगर कार्यपालक पदाधिकारी कुमारी हिमानी ने कहा कि ऐहतियात के तौर पर मेनगेट बंद रखा गया है. हड़ताली परिसर में आकर हंगामा करते हैं, इससे कार्य में बाधा उत्पन्न होती है.
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