पटना: बिट्टू की हत्या उसकी स्कॉर्पियो को लूटने के लिए की गयी. घटना की साजिश उसके दो दोस्तों ने रची थी. बिट्टू के दोस्त व ट्रेवेल एजेंसी के मालिक संजय राउत ने अपने अन्य साथियों के साथ मिल कर घटना को अंजाम दिया.
पुलिस ने ट्रेवेल एजेंसी मालिक को गिरफ्तार कर मामले का खुलासा किया है. हत्या के अन्य आरोपित अभी पुलिस की पकड़ से बाहर हैं, वहीं लूटी गयी स्कॉर्पियों भी बरामद नहीं हो सकी है. खबर है कि फरार आरोपित दिल्ली व असम में स्कॉर्पियो को बेचने में जुटे हुए हैं.
जानीपुर के सीमरा निवासी बिट्टू कुमार अपनी स्कॉर्पियो भाड़े पर चलाता था. वह संजय राउत के बुलाने पर आठ अगस्त की दोपहर 12.30 बजे घर से गाड़ी लेकर निकला और संजय के घर मंदिरी पहुंचा. वहां पर समस्तीपुर के लिए गाड़ी को भाड़े पर भेजने की बात हुई.
संजय ने अपने दूसरे साथी महेश के नाम पर गाड़ी बुक करायी और खुद भी समस्तीपुर साथ गया. पूरी साजिश के साथ संजय ने बिट्टू को अपने मामा के घर पर रोका. वहां पर बिट्टू को खूब शराब पिलायी गयी. नशे में होने के बाद संजय, महेश, उसके मामा एवं अन्य सहयोगियों ने मिल कर बिट्टू की गमछे से गला दबा कर हत्या कर दी.
हत्या के बाद गला रेत दिया गया. साक्ष्य मिटाने के लिए शव को मुफस्सिल थाना क्षेत्र के दादपुर चौर में मिट्टी के नीचे दफना कर फरार हो गये. वहीं संजय के अन्य साथी स्कॉर्पियो लेकर बेचने के लिए निकल गये. दरअसल को पुलिस को पता चला कि गाड़ी के भाड़े को लेकर बिट्टू की संजय से हमेशा बात होती थी. इस पर पुलिस ने संजय को हिरासत में लेकर पूछताछ की तो उसने हत्या की बात स्वीकार कर ली.