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पटना : फंड के अभाव में खत्म हुआ एजुकेशन व कल्चरल टूर

अमित कुमार पटना : एक समय था जब पटना विश्वविद्यालय समेत राज्य के ज्यादातर विवि व कॉलेजों में न सिर्फ एजुकेशनल टूर होता था बल्कि कॉलेज व विवि की ड्रामा टीम भी कई जगहों पर सांस्कृतिक कार्यक्रमों में शामिल होने जाती थी. लेकिन वर्तमान समय में यह परंपरा समाप्त हो गयी है. सांस्कृतिक या ड्रामा […]

अमित कुमार
पटना : एक समय था जब पटना विश्वविद्यालय समेत राज्य के ज्यादातर विवि व कॉलेजों में न सिर्फ एजुकेशनल टूर होता था बल्कि कॉलेज व विवि की ड्रामा टीम भी कई जगहों पर सांस्कृतिक कार्यक्रमों में शामिल होने जाती थी.
लेकिन वर्तमान समय में यह परंपरा समाप्त हो गयी है. सांस्कृतिक या ड्रामा टीम भी कहीं नहीं जाती. पहले विवि की ड्रामा टीम भी दूसरे राज्यों में परफॉर्म करने जाती थी. अब सिर्फ स्पोर्ट्स टूर पर छात्रों को भेजने की प्रक्रिया चल रही है. इसके अलावा कहीं कोई टीम नहीं भेजी जाती है. कुछ वोकेशनल कोर्स में अब भी वोकेशनल टूर हो रहे हैं.
क्यों बंद हो गये टूर : सरकार जो पहले कंटीजेंसी देती थी, उससे विवि टूर आदि कराते थे. अब न कॉलेज के पास टूर के लिए पैसा है और न ही विवि के पास. छात्रों से जितनी फीस ली जाती है, उसमें टूर नहीं कराया जा सकता है. फीस में टूर के नाम पर पैसा छात्रों से नहीं लिया जाता है. पहले ट्रेन में छूट मिलती थी. सरकार कॉलेज व विवि को भारी अनुदान देती थी.
छात्रों को कल्चरल एक्सपोजर नहीं मिल पाता
कुछ दिन पहले तरंग के तहत राजभवन द्वारा कार्यक्रम हुए थे. उसमें टीम भाग लेने गयी थी. उसके अलावा 80 के दशक के बाद यह टूर भेजने की परंपरा समाप्त हो गयी.
कुछ एक-दो कोर्सों में जहां शैक्षणिक टूर आवश्यक हैं, उनमें छात्र जाते हैं. लेकिन, पटना के आसपास एक दिन के लिए ही. हमारे समय में 12-15 दिन के लिए छात्र कॉलेज से टूर पर जाते थे. टूर नहीं होने से छात्रों को कल्चरल एक्सपोजर नहीं मिल पाता. सरकार जिस तरह स्कूलों में शैक्षणिक भ्रमण करा रही है, कॉलेजों में छात्रों के लिए भी भारत भ्रमण की योजना चलायी जानी चाहिए.
प्रो रणधीर कुमार सिंह, पटना कॉलेज में शिक्षक, पुटा के अध्यक्ष व पूर्ववर्ती छात्र पहले कॉलेज को टूर आदि के लिए अनुदान मिलता था, जो तीन-चार दशकों से बंद है. लगभग तभी से टूर भी बंद हैं. इसे शुरू करने के लिए सरकार जब तक कॉलेजों को आवश्यक फंड नहीं देगी, इसे शुरू करना संभव नहीं है.
प्रो राजकिशोर प्रसाद, प्राचार्य, बीएन कॉलेज

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