मसौढ़ी: अनुमंडल अस्पताल समेत धनरूआ प्रखंड स्थित प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र को एक एंबुलेंस भी नसीब नहीं है. वहीं, मसौढ़ी पीएचसी का एंबुलेंस भी आवंटन के अभाव में बीते करीब एक पखवारे से अस्पताल की शोभा की बन कर रह गया है.
इस कारण मरीजों को पटना भेजने में काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है . कभी -कभी तो वाहन की व्यवस्था करने में इतनी देर हो जाती है कि अस्पताल पहुंचने के पूर्व ही मरीज की मौत हो जाती है. इससे कर्मियों को मरीजों के परिजनों के आक्रोश का शिकार होना पड़ता है.
जानकारी के अनुसार करोड़ों रुपये की लागत से मसौढ़ी अनुमंडल अस्पताल भवन का निर्माण 2005-06 में किया गया था. इसके बाद एक एंबुलेंस मिला, लेकिन उसे प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, मसौढ़ी को दे दिया गया.
नतीजतन अब अनुमंडल अस्पताल को एंबुलेंस की आवश्यकता होने पर अस्पताल के चिकित्सक को अपने खर्च पर किसी निजी वाहन से मरीज को पटना अस्पताल भेजना पड़ता है. उधर , मसौढ़ी पीएचसी का एंबुलेंस भी डीजल के अभाव में 23 अप्रैल से बंद पड़ा है. उधर , धनरूआ पीएचसी के पास भी तीन-चार माह से अपना कोई एंबुलेंस नहीं है और उसे मसौढ़ी पीएचसी के एंबुलेंस से टैग कर दिया गया है. जरूरत पड़ने पर धनरूआ पीएचसी मसौढ़ी पीएचसी से एंबुलेंस लेता है. सिविल सर्जन से बात की गयी तो उन्होंने अस्पताल के प्रभारी चिकित्सक से बात करने को कहा. इधर , प्रभारी चिकित्सक डॉ महेंद्र प्रसाद सिंह ने कहा कि गाड़ी अभी खड़ी रहेगी. वजह पूछने पर उन्होंने कहा कि फंड नहीं है.