मुजफ्फरपुर: अब ओझा भी फैसले सुनाते हैं. पुलिस की तरह अनुसंधान व कोर्ट की तरह फैसला करते हैं. इनके फैसले के बाद धर्मेद्र सिंह को गांव से निकाल दिया गया. उनकी पत्नी व बच्चे दर-दर की ठोकरें खा रहे हैं. मामला कुढ़नी थाना क्षेत्र के रजला गांव का है. थाने से शिकायत के बावजूद कोई कार्रवाई नहीं की गई. अब धर्मेद्र ने कोर्ट से न्याय की गुहार लगायी है.
बताया जाता है कि धर्मेद्र सिंह के रिश्तेदार विनय सिंह के घर गत पांच जुलाई को चोरी हुई थी. खोजी कुत्ता लगाया गया, लेकिन समान की बरामदगी नहीं हो सकी. तब विनय ने ओझा का सहारा लिया. राजेपुर के ओझा बाबू जान ने धर्मेद्र सिंह को आरोपित बताया. करीब एक सप्ताह पूर्व विनय ने गोरिया गांव के एक ओझा से चावल पढ़वा कर लाया. धर्मेद्र सिंह को जबरन खिलाने की कोशिश की. इनकार करने पर धर्मेद्र सिंह, पत्नी रेखा देवी, उनके दो बच्चे व मां प्रभा देवी को गांव से निकाल दिया. तब से वे जहां-तहां भटक रहे हैं. कई बार हत्या की धमकी भी मिल चुकी है. धर्मेद्र सिंह का कहना है कि जमीन कब्जा करने के लिए ऐसा किया जा रहा है.
दी सामूहिक आत्मदाह की धमकी : विनय के आतंक से परिजन परेशान हैं. उन्होंने न्याय नहीं मिलने पर सामूहिक आत्मदाह करने की धमकी दी है. चोरी के मामले में पुलिस भी किसी नतीजे तक नहीं पहुंच सकी. अब तक सुपरविजन भी नहीं हो सका. ओझा के फैसले पर गांव के लोग कानून को अपने हाथ में ले रहे हैं. उधर, विनय सिंह ने गांव से निकाले जाने की बात को पूरी तरह बेबुनियाद बताया. उन्होंने बताया चोरी की घटना में उनलोगों का हाथ है. कुढ़नी थाने की पुलिस ने उन्हें आरोपित भी किया है. आये दिन मारपीट व गाली-गलौज करते हैं. धर्मेद्र ने सोमवार को कोर्ट में एक मुकदमा भी किया है.