20 हजार रुपये का अर्थदंड भी लगाया गया
किशनगंज : पत्नी की हत्या के मामले में एडीजे प्रथम पारस नाथ राय ने बुधवार को मुख्य आरोपी मृतिका के पति असगर अली पिता सूरत अली सह आरोपी मसीहुर रहमान पिता सिराजुद्दीन निवासी गिलाबाड़ी, जियापोखर को दोषी पाते हुए आजीवन कारवास एवं 20 हजार रुपये अर्थ दंड की सजा सुनायी है.
अर्थ दंड नहीं देने पर दो वर्ष की अतिरिक्त सजा काटनी पड़ेगी. लोक अभियोजक सत्य नारायण प्रसाद और अपर लोक अभियोजन सुरेन प्रसाद ने कोर्ट में जोर बहस करते हुए दो आरोपी को सख्त से सख्त सजा देने की मांग की.
मिली जानकारी के अुनसार पांच अक्टूबर 2013 को बाबा ईंट भट्ठा के समीप असगर अली ने पत्नी आयशा खातून को बुलाया और अपने दोस्त मसीहुर रहमान की मदद से उसकी हत्या कर दी. मृतिका के पिता अब्दुल सत्तार सोनामनी जियापोखर निवासी ने ठाकुरगंज थाने में कांड संख्या 215/13 तहत दामाद असगर अली और मसीहुर रहमान को नामजद अभियुक्त बनाया. न्यायालय ने दोनों आरोपियों के खिलाफ भादवि की धारा 302 के तहत दोषी करार देते हुए आजीवान कारवास और 20 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनायी.