Bihar Election 2020: जदयू (JDU) के राष्ट्रीय अध्यक्ष सह मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (Nitish kumar) ने रविवार को एक निजी न्यूज चैनल को दिये इंटरव्यू में कहा है कि चुनाव में बहुमत आने पर मुझे फिर मुख्यमंत्री बनाये जाने की घोषणा अमित शाह, जेपी नड्डा सहित भाजपा के सभी बड़े नेताओं ने की है. मैंने उनलोगों से ऐसा करने के लिए कभी नहीं कहा. यह भाजपा की घोषणा है. हमलोगों का संबंध तो बहुत पुराना है. बिहार को ऊंचाई पर पहुंचाने के लिए हम साथ मिलकर काम कर रहे हैं.
आखिरी चुनाव के सवाल पर उन्होंने कहा कि ये सब मत पूछिए, ये सब ऊपर वाले पर निर्भर करता है. जब तक मौका मिलेगा, हम काम करेंगे. उन्होंने एनडीए को पूर्ण बहुमत में आने का दावा किया.
सीएम ने कहा कि तेजस्वी यादव की रैली में उमड़ने वाली भीड़ का कोई मतलब नहीं है. पुराने चुनावों का इतिहास देखिए. लालू प्रसाद की रैली में भीड़ उमड़ती थी, लेकिन नतीजे आपके सामने हैं. हमलोगों ने मौका मिलने पर सिर्फ काम किया है. कहा कि अगर जनता ने हरा दिया तो घर बैठकर आराम करेंगे, लेकिन ऐसा होगा नहीं. जनता को सब पता है कि किसने क्या किया है. एनडीए को बहुत अच्छे से बहुमत मिलेगा, हमारी सरकार बनेगी. और अगर कुछ इधर उधर हुआ तो 15 वर्ष पुरानी सरकार मिलेगी.
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केंद्र से सहयोग के मुद्दे पर नीतीश कुमार ने कहा कि बिहार के विकास में केंद्र का पूरा सहयोग मिल रहा है. कई अतिरिक्त योजनाएं बिहार के लिए बनायी गयी हैं. आगे भी हमलोग साथ मिलकर काम करेंगे.
बिहार में जनता एक बार फिर एनडीए पर भरोसा दिखायेगी और हम सरकार बनाकर जनता की सेवा करेंगे. जनता को भरोसा है, लेकिन चंद लोगों को हम पर भरोसा नहीं है. हम यहां सेवा करते हैं, लेकिन बाकी लोग राजनीति करना चाहते हैं.
राजद के 10 लाख नौकरी देने की चुनावी घोषणा पर नीतीश कुमार ने कहा कि हमको कोई नहीं घेर सकता. ये लोग जो बोल रहे हैं, उस पर कभी सोचा भी नहीं है. छह लाख से ज्यादा नौकरी हमने दी. 15 साल में 95 हजार नौकरी देने वाले हम पर आज हमला कर रहे हैं. 10 लाख नौकरी देने के लिए एक लाख 44 हजार करोड़ रुपये सालाना चाहिए, वह कहां से आयेगा? इन बातों से कुछ लोग भ्रमित होंगे.
सरकार किसी को डायरेक्ट भर्ती नहीं कर सकती. ये सब बस पब्लिसिटी के लिए है. हर चीज का एक कमिशन बना हुआ है, उसके आधार पर भर्ती की जाती है. हर विभाग की तय योजना होती है. भर्ती आती है, उसके आधार पर नौकरी दी जाती है. इन लोगों की बातें सिर्फ लोगों के बीच भ्रम पैदा करने वाली हैं.
बिहार में 15 साल पहले रही राजद सरकार पर हमला बोलते हुए नीतीश कुमार ने कहा कि हत्या, क्राइम, नरसंहार, कितने लोग और व्यापारी भागे थे. यह सब कुछ क्या लोगों को पता नहीं है? बिहार के ‘जंगलराज’ को हमने खत्म किया है. अगर सरकार बदल गयी तो फिर से पुराना दौर लौट आयेगा.
हमने हर किसी को आजादी से रहने का माहौल दिया है. लोग नहीं जानते हैं कि 15 साल में क्या-क्या काम हुए? उसके पहले के 15 साल में क्या हुआ था. लोग डर-डर कर भाग रहे थे. इस सब लोग को पता नहीं है, जिनका पहले का काम है, उन्हीं के परिवार का लोग कह रहा है.हम लोगों को तो संघर्ष करते हुए काम का वक्त मिला.
मुख्यमंत्री ने कहा कि चुनाव में एंटी इन्कंबेंसी मुद्दा नहीं है. उसकी चिंता भी नहीं है. 20 जनवरी को पर्यावरण के मुद्दे पर मानव शृंखला बनी पांच करोड़ 16 लाख लोग शामिल हुए. 18 हजार किमी से अधिक लंबाई की शृंखला बनी. इसके साथ ही हाल ही में तीन करोड़ 47 लाख पौधे लगाये गये.
ये सब केवल तब हुआ, जब लोगों का हमने अाह्वान किया. इससे पता चलता है कि कहीं कोई एंटी इन्कंबेंसी फैक्टर नहीं है. जल-जीवन-हरियाली सहित अन्य कामों की जानकारी 24 सितंबर को संयुक्त राष्ट्र को दी. सात निश्चय को इस कार्यकाल में लागू किया है. उस पर काम करेंगे. मेरे बारे में आम आदमी की नयी पीढ़ी से पूछिए तेजस्वी-चिराग के हमले पर मुख्यमंत्री ने कहा कि हमको कोई फीलिंग नहीं है.
कोई क्रिकेट में था, कोई सिनेमा में था. मेरे खिलाफ बोलने पर इन्हें पब्लिसिटी मिलती है. हमलोगों ने सबका काम किया है. ये लोग किसी खास परिवार की नयी पीढ़ी हैं. आम आदमी की नयी पीढ़ी से मेरे बारे में पूछिए. इनकी बातों पर हमलोग ध्यान नहीं देते. इनका कोई वजूद नहीं है. ये सिर्फ परिवार के दम पर चमके हैं.
मुख्यमंत्री ने राजद शासनकाल पर कहा कि बिहार में जब उन्होंने 15 साल राज किया, तब 24 हजार करोड़ से भी कम का बजट था. अब हमारा दो लाख 11 हजार करोड़ का बजट है. उन्होंने कहा कि ये लोग जनता में भ्रम पैदा करने की कोशिश कर रहे हैं. कुछ लोग भ्रमित होंगे, हर कोई भ्रमित भी नहीं होगा.
Posted by Ashish Jha