सिविल सर्जन ने प्रभारी को दिया स्वास्थ्य प्रशिक्षक के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराने का आदेश
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रजिस्टर छीन बनायी तीन माह की हाजिरी
सिविल सर्जन ने प्रभारी को दिया स्वास्थ्य प्रशिक्षक के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराने का आदेश भागलपुर : रेफरल अस्पताल सुलतानगंज में कार्यरत स्वास्थ्य प्रशिक्षक को करीब सात साल पूर्व पहले स्वास्थ्य विभाग पटना, फिर करीब ढाई माह पहले सिविल सर्जन ने गोपालगंज जिले में विरमित कर दिया. स्वास्थ्य प्रशिक्षक गोपालगंज जाने के बजाय सुलतानगंज में […]
भागलपुर : रेफरल अस्पताल सुलतानगंज में कार्यरत स्वास्थ्य प्रशिक्षक को करीब सात साल पूर्व पहले स्वास्थ्य विभाग पटना, फिर करीब ढाई माह पहले सिविल सर्जन ने गोपालगंज जिले में विरमित कर दिया. स्वास्थ्य प्रशिक्षक गोपालगंज जाने के बजाय सुलतानगंज में ही डटा रहा. शनिवार को इसकी दबंगई आरएस हॉस्पिटल में सिर चढ़ कर बोली और इसने हॉस्पिटल के प्रभारी के हाथ से न केवल अटेंडेंस रजिस्टर छीना, बल्कि 26 मार्च से लेकर अब तक की हाजिरी बना दी.
इसकी जानकारी सिविल सर्जन को हुई तो वह आक्राेशित हो प्रभारी को स्वास्थ्य प्रशिक्षक के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराने का आदेश दे दिया. वर्ष 2008-09 में रेफरल अस्पताल में तैनात स्वास्थ्य प्रशिक्षक दिनेश राम ने तत्कालीन प्रभारी डॉ आरपी भगत के साथ मारपीट की थी. तत्कालीन सीएस ने विभागीय कार्यवाही करते हुए इसकी रिपोर्ट स्वास्थ्य विभाग पटना को भेज दी थी. जहां से इसको दोषी मानते हुए विभाग ने प्रशिक्षक का ट्रांसफर गोपालगंज जिले में कर दिया था.
मामला कोर्ट में गया, तो वह आरएच हाॅस्पिटल सुलतानगंज में ही डटा रहा. कोर्ट ने विभागीय कार्यवाही को सही मानते हुए स्वास्थ्य प्रशिक्षक को कड़ी फटकार लगायी थी. 26 मार्च 2016 को सिविल सर्जन डॉ विजय कुमार ने भी स्वास्थ्य प्रशिक्षक दिनेश राम को गोपालगंज विरमित कर दिया. बावजूद वह यहीं डटा रहा.
बकौल सिविल सर्जन डॉ कुमार, शनिवार को आरएच सुलतानगंज के प्रभारी डॉ जेपी सिंह अपने ऑफिस में बैठे थे. इस दौरान विरमित हेल्थ ट्रेनर दिनेश राम उनके कार्यालय में गया और अटेंडेंस रजिस्टर मांगा. न देने पर उसने प्रभारी से रजिस्टर छीन हाजिरी बना दी.
मुकदमा दर्ज कराने का प्रभारी को सीएस ने दिया आदेश
सिविल सर्जन डॉ विजय कुमार ने एचटी(स्वास्थ्य प्रशिक्षक) के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराने का आदेश आरएफ सुलतानगंज के प्रभारी डॉ सिंह को दे दिया है. इसके अलावा एसडीओ कुमार अनुज को भी इसकी जानकारी दे दी, ताकि वह बीडीओ के जरिये आरोपी के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करा सकें.
लूट-हत्यारोपी बेटे के नाम पर चला रहा मनमानी का सिक्का
आरोपी दिनेश राम का बेटा एलआइसी एजेंट के घर हुई डकैती-हत्या केे मामले में आजकल जेल में है. आरोपी अपने इसी बेटे के नाम पर हॉस्पिटल में वह अपनी दबंगई और मनमानी का सिक्का चला रहा है.
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