बांकाः भारतीय जीवन बीमा निगम कार्यालय में इन दिनों अनियमितता के कारण बीमा धारकों में नाराजगी बढ़ती जा रही है. ककबारा गांव के सुरेश यादव की हत्या के बाद बीमा कार्यालय में काफी दौड़ लगाने के बाद किसी तरह उनकी पत्नी को क्लेम के रूप में 40 हजार रुपये की राशि तो मिल गयी लेकिन पॉलिसी के अनुरूप जहां उन्हें हत्या के मामले में बीमा राशि दो गुणा क्लेम मिलना था नहीं मिल सका.
इस संबंध में मृतक की पत्नी बीमा कार्यालय का दौड़ लगा कर हार चुकी है. कहा कि एलआइसी ऑफिस में रोज नये-नये कागजात की मांग की जाती है. अभिकर्ता व मैनेजर बांका से भागलुपर ऑफिस जाने की सलाह देते हैं.
क्या है मामला
ककबारा गांव वासी सुरेश यादव की हत्या 16 सितंबर 2004 को हुई थी. इसमें पॉलिसी के नियम के अनुरूप 40 हजार रुपये की बीमा राशि से दो गुणा यानि 80 हजार रुपये का दावा राशि मिलना था. पर बीमा धन के बराबर राशि ही उसकी पत्नी को पॉलिसी संख्या 522306829 के बदले चेक संख्या 0082814, दिनांक 15 सितंबर 2003 को मिला.
कहते हैं अधिकारी
एलआइसी बांका शाखा के प्रबंधक विनोद कुमार से पूछे जाने पर बताया कि मृतक की पत्नी को 40 हजार का भुगतान कर दिया गया है. शेष राशि की भुगतान के लिए पेपर को भागलपुर डिवीजन कार्यालय को भेजा गया है. जहां से बिसरा रिपोर्ट की मांग की गयी है, जबकि मृतक की पत्नी के अनुसार सारे कागजात को बांका शाखा में जमा कर दिया गया है.