नयी दिल्ली : जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) के छात्र नजीब अहमद के रहस्यमयी परिस्थितियों में लापता हो जाने की जांच कर रही दिल्ली पुलिस ने नया दावा पेश किया है. मीडिया में आ रही उन खबरों का दिल्ली पुलिस ने खंडन किया है, जिसमें कहा जा रहा था कि नजीब, खूंखार आतंकी संगठन आईएस ज्वाइन करना चाह रहा था. दिल्ली पुलिस के मुख्य प्रवक्ता दीपेंद्र पाठक ने साफ करते हुए कहा कि पुलिस की जांच में ऐसा कोई तथ्य सामने नहीं आया. उन्होंने कहा कि पूरी जांच में नजीब के आईएस से किसी भी प्रकार के संबंध का सबूत नहीं मिला है. इस बीच लापता नजीब की तलाश जारी है और उसके बारे में अभी तक कुछ भी पता नहीं चल पाया है.
मीडिया में आ रही खबरों के अनुसार, दिल्ली पुलिस की जांच में नजीब के आईएस से संबंध के सबूत मिले हैं. इसमें दावा किया गया था कि नजीब के कंप्यूटर से यह जानकारी मिली है कि वह सर्च वेबसाइट गूगल पर आईएस के बारे में सर्च करता था. इसके साथ ही, उसे वीडियो देखता था. इन रिपोर्ट्स में दावा किया गया था कि नजीब की ब्राउजिंग हिस्ट्री से यह पता चला है.
पिछले साल अक्टूबर में नजीब संदिग्ध परिस्थितियों में जेएनयू से लापता हो गया था. दावा है कि एबीवीपी के छात्रनेताओं से उसकी बहस हुई थी. उसी के बाद से उसका कोई अता-पता नहीं है. पुलिस इस मामले में पूरी जांच कर रही है. दिल्ली पुलिस को इस मामले में हाईकोर्ट से भी कड़ी फटकार मिली है.