नयी दिल्लीः विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने लोकसभा में स्पष्ट तौर पर कहा कि वरिष्ठ पत्रकार वेद प्रताप वैदिक के पाकिस्तान यात्रा की कोई जानकारी सरकार के पास नहीं थी. और नाही सरकार वैदिक और 26/11 के अरोपी और आतंकवादी गुट जमात उद दावा के प्रमुख हाफिज सईद से मुलाकात के बारे में जानती थी.
दोनों सदनों में वैदिक के बयान और हाफिज से मुलाकात को लेकर हंगामा मचा हुआ है. विपक्ष सरकार को किसी अन्य आवयक मामले पर बात करने का अवसर ही नहीं दे रहा है.
विपक्ष ने मांगा था जवाब
राज्यसभा में भी विपक्ष ने सरकार से वैदिक के बयान और हाफिज से उनकी मुलाकात पर सरकार की ओर से जवाब मांगा था. बारह बजे से पहले 15 मिनटों के लिए राज्यसभा को स्थगित भी किया गया. राज्यसभा में वित्त मंत्री अरूण जेटली ने भी स्पष्ट किया है कि सरकार को वैदिक से कोई लेना देना नहीं है.
लोकसभा में इसी समय विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने भी वैदिक का सरकार से संबंध से इनकार किया है. सरकार के इनकार के बावजूद भी विपक्ष सदन की कार्रवाई को बाधित कर रहा है.
सदन में नहीं हो पाया प्रश्नकाल
वैदिक के मामले पर हंगामें की वजह से आज भी उच्च सदन में प्रश्नकाल नहीं हो पाया. सदनों में प्रश्नकाल शुरू होते ही कांग्रेस सहित कई विपक्षी दलों के सदस्यों ने वरिष्ठ हिन्दी पत्रकार वेदप्रताप वैदिक की हाफिज सईद से मुलाकात का मुद्दा उठाना शुरू कर दिया.
कांग्रेस के सत्यव्रत चतुर्वेदी ने कहा कि यह अत्यंत गंभीर मुद्दा है और सरकार को बताना चाहिए कि उसने क्या कार्रवाई की है. उन्होंने कहा कि इस सवाल का जवाब बेहद जरुरी है कि आखिर वैदिक ने किसकी अनुमति से सईद से मुलाकात की. पार्टी के अन्य सदस्यों ने तथा सपा, बसपा, जदयू, तृणमूल कांग्रेस के सदस्यों ने उनकी बात का समर्थन किया.
विपक्ष ने नहीं मानी रास अध्यक्ष की बात
सभापति हामिद अंसारी ने सदस्यों से कहा कि कल भी यह मुद्दा उठाया गया था और इस पर जवाब मिल चुका है. इसलिए प्रश्नकाल चलने दिया जाना चाहिए. इसी बीच कांग्रेस और सपा के सदस्य वैदिक की गिरफ्तारी की मांग को लेकर नारे लगाते हुए अपने स्थानों से आगे आ गए।
व्यवस्था बिगडते देख सभापति ने बैठक शुरू होने के महज 3 मिनट बाद ही 15 मिनट के लिए सदन स्थगित कर दी. 15 मिनट बाद बैठक फिर से शुरू हुई तो सदन में वही नजारा था. कांग्रेस के आनंद शर्मा ने कहा कि राष्ट्रीय सुरक्षा से जुडे मुद्दे को बेहद हल्के तौर पर नहीं लिया जाना चाहिए. सरकार को पूरी स्थिति स्पष्ट करनी चाहिए.
विपक्षी सदस्य एक बार फिर वैदिक की गिरफ्तारी की मांग करते हुए नारे लगाने लगे. हंगामा थमते न देख अंसारी ने बैठक दोपहर 12 बजे तक के लिए स्थगित कर दी. 12 बजे सदन शुरू की गयी जिसमें अरूण जेटली ने फिर से वैदिक और पार्टी के संबंध से इनकार किया.