समस्तीपुर/परबत्ता : भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमति शाह ने कहा कि लालू यादव के गोमांस वाले बयान पर राहुल गांधी नीतीश कुमार को अपनी स्थिति स्पष्ट करनी चाहिये. वे लालू के बयान से सहमत है या नहीं. भाजपा जाति-पांति की राजनीति नहीं करती है. हमारा एक उद्देश्य है विकास. बिहार में भाजपा सरकार बनी, तो पांच सालों में एक देश का नंबर-एक राज्य बना देंगे.
भाजपा अध्यक्ष बुधवार को सरायरंजन विधानसभा क्षेत्र के बथुआ बुर्जुग गांव स्थित स्टेडियम में चुनावी सभा को संबोधित कर रहे थे. श्री शाह ने कहा कि जीवन भर जय प्रकाश व लोहिया के सिद्धांतों पर चलने वाले सत्ता के लिए आज कांग्रेस की गोद में बैठे हैं. नीतीश के साथ जंगलराज और भ्रष्ट्राचार है, ऐसे में बिहार का कैसे विकास होगा. भाजपा आरक्षण की समर्थक है और इसमें कोई बदलाव नहीं होगा.
उन्होंने कहा कि 25 सालों तक बिहार में लालू-नीतीश ने शासन किया, फिर भी विकास नहीं हुआ, तो इसकी जिम्मेवारी भी उन्हीं की है. दोनों को जवाब देना चाहिये. भाजपा अध्यक्ष ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का हाथ मजबूत करें, हम बिहार को बदल देंगे. परबत्ता की सभा में उन्होंने पूछा कि दस वर्षों के शासन में केंद्र की यूपीए सरकार ने बिहार को क्या दिया. राहुल बाबा आज बिहार आये हैं.
लालू यादव ने 15 सालों तक प्रदेश में जंगलराज चलाया. इस दौरान अति पिछड़ा तथा दलित समाज पर अत्याचार किया गया. इस जंगलराज को खत्म करने के लिए हमने संघर्ष किया. हमें लगा की यह अकेले नहीं हो पायेगा, इसलिए नीतीश कुमार को भी साथ ले लिया और उन्हें मुख्यमंत्री बनाया.
पर, लोकसभा चुनाव आने पर उन्हें यह खुशफहमी हो गयी कि वह प्रधानमंत्री बन सकते हैं और गंठबंधन तोड़ दिया. अब एक कंधे पर लालू का जंगलराज तथा दूसरे कंधे पर कांग्रेस का भ्रष्टाचार लेकर चुनाव में आये हैं. जिनका जीवन भर विरोध नीतीश करते रहे, उन्हीं की गोद में बैठ गये. उन्होंने लालू यादव के बयान की चर्चा करते हुए कहा कि उन्हें गाय और बकरे के मांस में कोई अंतर नहीं लगता है. नीतीश कुमार और राहुल गांधी स्पष्ट करें कि वे लालू के इस बयान के साथ हैं कि नहीं.
उन्होंने एक बार फिर आरक्षण पर भाजपा का रुख स्पष्ट करते हुए कहा कि पार्टी आरक्षण के वर्तमान स्वरूप का समर्थन करती है तथा सत्ता में आने पर इसमें कोई बदलाव नहीं करेगी. नरेंद्र मोदी देश को आगे ले जाना चाहते हैं, पर बिहार को साथ लिये बिना यह संभव नहीं है. इसके लिए शुरुआत हो गयी है तथा केंद्र ने राज्य को सवा लाख करोड़ का पैकेज दिया है. अब यह तय करना है कि केंद्र से लड़ने वाली सरकार चाहिए या सहयोग लेकर विकास करने वाली सरकार चाहिए.