रांची: पंडित जवाहर लाल नेहरू आजाद भारत में कांग्रेस के सबसे लोकप्रिय नेता थे. उनके नेतृत्व में तीन लोकसभा चुनाव हुए, पहला (1952), दूसरा (1957) व तीसरा (1962). इन सभी चुनाव में नेहरू को प्रचंड बहुमत मिला था.. पहले व दूसरे आम चुनाव में नेहरू रांची भी आये थे. तब लोकसभा की कुल 462 सीटें हुआ करती थी. कांग्रेस को पहले लोकसभा चुनाव में 364 तथा दूसरे में 371 सीटें मिली थी.
जबकि तीसरे आमसभा चुनाव में कांग्रेस को 10 सीटों का नुकसान हुआ था तथा उसे 361 सीटें मिली थीं. पहले लोक सभा चुनाव में कांग्रेस के प्रचार के लिए नेहरू विशेष विमान से रांची भी आये थे. मोरहाबादी मैदान में 14 जनवरी 1952 को आम सभा हुई थी. तब नेहरू ने रांची वासियों से कांग्रेस को वोट देने की अपील की थी.
उस सभा में नेहरू ने जयपाल सिंह की झारखंड पार्टी तथा रामगढ़ के राजा कामाख्या नारायण सिंह की पार्टी बिहार राज्य जनता पार्टी को छोटी पार्टी कहा था. नेहरू का कहना था कि छोटी पार्टियों का लक्ष्य व मकसद भी छोटा होता है. उनका यह भी कहना था कि देश भर में ऐसे तंग दिल व तंग खयालात वाली पार्टियों की कमी नहीं है. कामाख्या नारायण सिंह तब हेलीकॉप्टर से चुनाव प्रचार करते थे. नेहरू ने इसकी भी आलोचना की थी. वर्ष 1957 के दूसरे चुनाव में भी नेहरू रांची आये थे. वहीं तीसरी व अंतिम बार एचइसी के उद्घाटन अवसर पर 15 नवंबर 1963 को वह रांची आये थे.
नेताओं के नेतृत्व में कांग्रेस का प्रदर्शन
चुनावी वर्ष नेतृत्व सीटें
1952 नेहरू 364
1957 नेहरू 371
1962 नेहरू 361
1967 इंदिरा 283
1971 इंदिरा 362
1977 इंदिरा 154
1980 इंदिरा 353
1984 राजीव 415
1989 राजीव 197
1991 राजीव+राव 244
1996 नरसिंहा राव 140
1998 सोनिया 141
1999 सोनिया 114
2004 सोनिया 145
2009 सोनिया 206