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प्रभात खबर की ओर से पटना कॉलेज में चला ‘वोट करें, देश गढ़े’ अभियान, पूर्व डीजीपी डीएन गौतम ने युवाओं को वोट देने के लिए किया प्रेरित

प्रभात खबर की ओर से गुरुवार को पटना कॉलेज के सेमिनार हॉल में ‘वोट करें, देश गढ़े’ जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया. इस आयोजन का मकसद युवा वोटरों को मतदान के प्रति जागरूक करना था. इस दौरान कार्यक्रम में उपस्थित मुख्य अतिथियों ने उन्हें बताया कि भारत जैसे लोकतांत्रिक देश में वोट देना क्यों जरूरी है. साथ ही उन्हें वोटर कार्ड बनवाने से लेकर मतदान करने तक की प्रक्रियाओं के बारे में बताया गया. मौके पर बिहार के पूर्व डीजीपी डीएन गौतम, डीपीआरओ लोकेश झा, पटना कॉलेज के प्राचार्य प्रो डॉ संजय कुमार सिन्हा,  प्रभात खबर के स्टेट हेड अजय कुमार व प्रभात खबर के रेसिडेंट एडिटर रंजीत कुमार सिंह मौजूद रहे.

पटना कॉलेज के सेमिनार हॉल में गुरुवार को ‘वोट करें, देश गढ़ें’ जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया. इसमें मुख्य अतिथि के रूप में बिहार के पूर्व डीजीपी डीएन गौतम ने विद्यार्थियों को संबोधित किया. उन्होंने कहा कि हर कोई अपनी जिंदगी को बेहतर करने की कोशिश करता है, लेकिन समाज, परिवार और परिवेश का हस्तक्षेप अपनी पसंद की चीजों को चुनने में प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से ही रहता है. लेकिन एक मात्र राजनीतिक प्रतिनिधि को चुनने का अधिकार हर शख्स का अपना निर्णय और अपनी पसंद पर ही निर्भर करता है. इसकी आजादी हमारे देश की चुनाव प्रक्रिया है, जो हम सभी को देती है.

आम चुनाव जनता के लिए एक चमत्कार की तरह है : डीएन गौतम

पूर्व डीजीपी डीएन गौतम ने कॉलेज के विद्यार्थियों से कहा कि किसी भी लोकसभा क्षेत्र में मतदान प्रतिशत बढ़ता है, तो उस क्षेत्र में प्रलोभन देकर वोट पोलराइजेशन करने वालों की शक्ति ही खत्म हो जाती है. इसलिये मतदान अवश्य करें और अपने परिवार के लोगों को भी मतदान का महत्व बताते हुए उन्हें वोटिंग के लिए जागरूक करें. आम चुनाव जनता के लिए एक चमत्कार ही होते हैं, जिसके माध्यम से वे अपने भविष्य की रहनुमाई करने वालों को अपनी पसंद के अनुरूप चुन सकते हैं. उन्होंने कहा कि मतदान प्रतिशत बढ़ने से केवल वोट की संख्या ही नहीं बढ़ती, बल्कि प्रतिनिधियों की चरित्र और राजनीतिक चरित्र को बदलने का भी अवसर प्रदान करता है.

‘वोट करें, देश गढ़ें’ जागरूकता कार्यक्रम में उपस्थित डीपीआरओ लोकेश झा ने भी शहरी क्षेत्र में मतदान प्रतिशत को बढ़ाने की विद्यार्थियों से अपील की. इस अवसर पर प्रभात खबर के स्टेट हेड अजय कुमार ने भी मतदान का महत्व बताते हुए वोट करने के लिए विद्यार्थियों को प्रेरित किया. मौके पर प्रभात खबर के रेसिडेंट एडिटर रंजीत कुमार सिंह भी मौजूद रहे. कार्यक्रम में मुख्य अतिथि डीएन गौतम ने विद्यार्थियों द्वारा पूछे गये सवालों का बेबाकी के साथ जवाब दिया.

मतदान नहीं करने से हार मतदाता की होती है : लोकेश झा

डीपीआरओ लोकेश झा ने विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए चुनावी आंकड़े पेश करते हुए बताया कि शहरी क्षेत्र में वर्ष 2019 की लोकसभा चुनाव में मात्र 35 प्रतिशत ही वोटिंग हुई थी. उन्होंने बताया कि पटना में 4881 बूथ है जिसमें 1600 बूथ शहरी क्षेत्र में ही पड़ता है. इसके बावजूद भी मत प्रतिशत कम होना हम सभी के लिये चिंता का विषय है.

उन्होंने पटना साहिब लोकसभा क्षेत्र का जिक्र करते हुए कहा कि यह क्षेत्र शिक्षित लोगों का क्षेत्र माना जाता है इसके बावजूद मत प्रतिशत कम होने का असर पूरे राज्य के मत प्रतिशत पर पड़ता है. उन्होंने विद्यार्थियों से अपील करते हुए कहा कि वोट अवश्य दें और अपने परिवार के सदस्यों को भी वोट करने के लिए प्रेरित करें.

वोट देकर चुनें अपनी पसंद का जनप्रतिनिधि : प्रो डॉ सिन्हा

पटना कॉलेज के प्राचार्य प्रो डॉ संजय कुमार सिन्हा ने प्रभात खबर के मतदाता जागरूकता अभियान की सराहना करते हुए कहा कि मतदान ही हमें बेहतर भविष्य को गढ़ने वाले प्रतिनिधि को चुनने का बड़ा अवसर प्रदान करता है. उन्होंने सभी विद्यार्थियों को जागरूक करते हुए बिना किसी प्रलोभन के अपने भविष्य के बारे में सोच कर मतदान करने की अपील की. उन्होंने जागरूकता अभियान में शामिल सभी अतिथियों का स्वागत करते हुए की इस तरह के कार्यक्रम से विद्यार्थियों के साथ ही अभिभावकों को भी लाभ पहुंचाने की बात कही.

स्टूडेंट्स ने पूछे कई सवाल, एक्सपर्ट ने दिये जवाब

Q :चुनाव से कुछ महीने पहले प्रतिनिधि लोगों की जरूरतों को पूरा करते हैं. क्या इसे भी प्रलोभन माना जाना चाहिए? मो. अमानतुल्लाह
A : जिसे जनता ने पांच साल के लिए चुना हो और वह अपने कार्यकाल खत्म होने से कुछ महीने पहले जनता की जरूरतों को पूरा करते हैं तो निश्चित ही प्रलोभन है. इस तरह के लोगों की ताकत वोटिंग प्रतिशत को बढ़ा कर ही दिया जा सकता है.

Q : राजनीतिक पार्टियों द्वारा जीतने के बाद आर्थिक मदद करने का जो प्रलोभन दिया जा रहा है इस पर विश्वास किया जाना चाहिए? हर्षा
A : इस तरह के लोग ऐसे ही प्रलोभन देकर रीझाना चाहते हैं अपने चुनावी फायदे के लिये. यह बात स्पष्ट है किसी तरह का भी लालच करने से हमेशा छला जायेगा. राजनीतिक पार्टियों के प्रलोभन को सीरियस नहीं लेना चाहिए हमेशा चुनाव बिना किसी प्रलोभन के अपने भविष्य को ध्यान में रख कर करें.

Q :लोकतांत्रिक देश में रहने के बावजूद डिक्टेटरशिप की ताकत का बढ़ने से लोगों को क्या परेशानी होगी? अनषिका प्रिया
A : लोकतांत्रिक देश में किसी भी व्यक्ति को मनमानी करने की ताकत नहीं है. यह स्पष्ट रूप से समझ लेना चाहिये किसी भी प्रकार के नये कानून को बनाने में आपके द्वारा चुने गये राजनीतिक प्रतिनिधियों का भी बड़ा रोल होता है. कोई भी व्यक्ति अपनी मर्जी को थोप नहीं सकता है इसी तरह की सोच पर अंकुश लगाने के लिये संविधान और न्यायालय मौजूद है.

Q :मतदान में नोटा का कितना महत्व और इस ऑप्शन का होना चाहिये या नहीं? आदित्य मोहन
A : नोटा का इस्तेमाल पूरी तरह से मत को बर्बाद करना है. नोटा का मतलब ही है इंवेलेंट वोट. जब इस मत का कोई महत्व ही नहीं तो इसका उपयोग करना ठीक नहीं है. नोटा के ऑप्शन को समाप्त कर दिया जाना चाहिये.

विद्यार्थियों ने सेल्फी प्वाइंट पर फोटो लेकर दिखाया जज्बा

प्रभात खबर की ओर से पटना कॉलेज के ज्योग्राफी डिपार्टमेंट के बाहर सेल्फी प्वाइंट के लिए कटआउट लगाया गया है. सेल्फी प्वाइंट पर फोटो खींचकर विद्यार्थियों ने वोटिंग के प्रति अपने जज्बे का इजहार किया.

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