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10 फरजी हाइस्कूलों की मान्यता समाप्त की गयी
जमशेदपुर के आठ व गुमला के दो हाइस्कूलाें पर कार्रवाई अभी 17 जिलों के स्कूल कॉलेजों की जांच रिपोर्ट की चल रही है समीक्षा सुनील कुमार झा रांची : राज्य में फरजी तरीके से चल रहे स्कूल-कॉलेजों के खिलाफ झारखंड एकेडमिक काउंसिल ने कार्रवाई की प्रक्रिया शुरू कर दी है. स्कूली शिक्षा एवं साक्षरता विभाग […]
जमशेदपुर के आठ व गुमला के दो हाइस्कूलाें पर कार्रवाई
अभी 17 जिलों के स्कूल कॉलेजों की जांच रिपोर्ट की चल रही है समीक्षा
सुनील कुमार झा
रांची : राज्य में फरजी तरीके से चल रहे स्कूल-कॉलेजों के खिलाफ झारखंड एकेडमिक काउंसिल ने कार्रवाई की प्रक्रिया शुरू कर दी है. स्कूली शिक्षा एवं साक्षरता विभाग ने उपायुक्त की जांच रिपोर्ट के आधार पर फरजी शिक्षण संस्थानों के खिलाफ कार्रवाई करने को कहा था. स्कूली शिक्षा एवं साक्षरता विभाग की सचिव ने इन स्कूल-कॉलेजों की स्थिति की नियमावली के अनुरूप समीक्षा करते हुए ऐसे संस्थान जो संचालित नहीं हैं, उनकी मान्यता समाप्त करने को कहा था.
स्कूली शिक्षा एवं साक्षरता विभाग द्वारा 17 जिलों के स्कूल-कॉलेजों की जांच रिपोर्ट जैक को भेजी गयी थी. विभाग द्वारा भेजी गयी रिपोर्ट पर कार्रवाई के लिए सात दिसंबर को जैक की मान्यता समिति की बैठक हुई. बैठक में दस हाइस्कूल की स्थापना अनुमति समाप्त करने का निर्णय लिया गया. इसकी रिपोर्ट झारखंड एकेडमिक काउंसिल से स्कूली शिक्षा एवं साक्षरता विभाग को भेज दी गयी है. जिन दस स्कूलों की मान्यता समाप्त की गयी है, उनमें से आठ स्कूल जमशेदपुर के व दो स्कूल गुमला के हैं. इसमें आठ हाइस्कूल ऐसे हैं जो संचालित नहीं हैं.
जांच कमेटी जब स्कूल पहुंची, तो उक्त स्थान पर कोई विद्यालय संचालित नहीं था. स्कूलों के पास मापदंड के अनुरूप भूमि, भवन, प्रयोगशाला व पुस्तकालय नहीं है. मान्यता समिति की बैठक झारखंड एकेडमिक काउंसिल के अध्यक्ष डॉ अरविंद प्रसाद सिंह की अध्यक्षता में हुई. विधायक कुमार ओझा, अजय कुमार गुप्ता, डॉ रामावतार प्रसाद केशरी, डॉ पुष्कर बाला व जैक के सचिव रजनीकांत वर्मा मान्यता समिति के सदस्य हैं.
दूसरे स्कूलों से परीक्षा में होंगे शामिल : जिन स्कूलों की मान्यता समाप्त की गयी हैं, वे जांच के दौरान बंद पाये गये थे. स्कूल का संचालन नहीं हो रहा था. इसके बाद भी कुछ स्कूलों से मैट्रिक परीक्षा में परीक्षार्थी को शामिल कराया जा रहा था.
परीक्षा में शामिल होने के लिए पंजीयन करा चुके विद्यार्थियों को कोई परेशानी न हो, इसके लिए उक्त विद्यार्थियों को निकटतम सरकारी हाइस्कूल से परीक्षा में शामिल कराने का निर्णय लिया गया है. अब अगले सत्र से विद्यालय से विद्यार्थी का पंजीयन नहीं होगा. संबंधित जिला के जिला शिक्षा पदाधिकारी को भी इसकी सूचना दे दी जायेगी.
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