हजारीबाग : के मिश्रा फाउंडेशन की ओर से मानव विचार की शुद्धीकरण गीता रहस्यों के आधार पर विषयक सेमिनार का आयोजन किया गया. हजारीबाग नगर भवन में शुक्रवार को आयोजित सेमिनार का शुभारंभ दीप प्रज्वलित कर सक्सेस गुरु एके मिश्रा, इस्कॉन इंडिया के निदेशक गौरांग प्रभु, पूर्व आइएएस डॉ अरविंद कुमार पांडेय, राष्ट्रपति पुरस्कार से सम्मानित प्राचार्य अशोक कुमार, चाणक्या के वाइस प्रेसीडेंट विनय मिश्रा ने संयुक्त रूप से किया. गौरांग प्रभु ने कहा कि शरीर का कैंसर एक बार एक निश्चित चरण से आगे बढ़ता है.
उसे नियंत्रित नहीं किया गया, तो उस व्यक्ति की मृत्यु हो सकती है. जीवन में कई बार हम उन परिस्थितियों में आते हैं, जो हमारे विरुद्ध है. उससे हम विजय प्राप्त करते हैं. जो विचार मन के कैंसर रूप में परिभाषित करते हैं, दिमाग के इस प्रकार के कैंसर को नियंत्रित नहीं किया गया, तो मनुष्य मृत्यु की ओर जाता है, कौन-सी मृत्यु, उत्साह की मृत्यु. इच्छाशक्ति की मृत्यु और व्यक्ति की गतिविधि की मौत.
गौरांग प्रभु ने कहा कि पूरे विश्व भर में सबसे अधिक 15 से 25 वर्ष के युवा भारत में रहते हैं. इनमें काफी संख्या में युवा आत्महत्या करने को विवश हैं. उनके सामने जीने की कोई उम्मीद नहीं दिखायी पड़ती है. वैसे युवाओं पर कैरियर का दबाव डाला जाता है, लेकिन इस्कॉन नीति भगवत गीता का ज्ञान देकर हजारों युवकों को सकारात्मक रूप से अपने जीवन को बदलने में सहयोग कर रहे हैं.
संस्था हरे कृष्ण आंदोलन के नाम से भी जाना जाता है. इसकी स्थापना 1966 में न्यूयार्क में भक्ति वेदांत स्वामी प्रभुपाद ने की थी. आज देश-विदेश में इसके अनेक मंदिर और विद्यालय हैं. सक्सेस गुरु एके मिश्रा ने कहा कि आज हजारीबाग के लिए गौरव की बात है कि अंतरराष्ट्रीय ख्याति प्राप्त गौरांग प्रभु हमारे मंच पर हैं. हमारा पूर्ण विश्वास है कि इनके सहयोग से एके मिश्रा फाउंडेशन हजारीबाग को देश के मानचित्र पर उभरेगा. इस मौके पर शहर के सैकड़ों की संख्या में लोग मौजूद थे.