पटना: पटना जंकशन के वीआइपी कक्ष में अब जो चाहे प्रवेश नहीं कर सकेगा. इंट्री के लिए अतिविशिष्ट लोगों के पदनाम की सूची तैयार की गयी है. सूची में शामिल पदधारी ही अंदर जा सकेंगे.
इसे एयरपोर्ट की तरह बनायी गयी है. फिलहाल वीआइपी कक्ष में मनमानी का आलम है. विभाग के रिटायर्ड व अन्य प्रभावशाली लोग जबरिया प्रवेश करते हैं. लापरवाही या संकोच के कारण रेलकर्मी उन्हें रोक नहीं पाते. वहीं, 27 अक्तूबर को हुए सीरियल ब्लास्ट के बाद भी सुरक्षा के प्रति चौकसी बढ़ गयी है. सुरक्षा के दृष्टिकोण से मंडल रेल प्रबंधक ने इंट्री के लिए पदनाम की सूची तैयार करायी है.
इन्हें मिलेगी जगह
राज्यपाल, उपराज्यपाल, सुप्रीम कोर्ट, हाइकोर्ट व जिला जज, लोकायुक्त, उपलोकायुक्त, मंत्री, सांसद व विधायक. पूर्व सांसद व पूर्व विधायक के प्रवेश के लिए यात्र टिकट को अनिवार्य किया गया है. पुलिस अधीक्षक व उनसे ऊपर के अधिकारी, जे ग्रेड व उनके ऊपर के रेल अधिकारी, कैबिनेट सचिव, मुख्य सचिव, सचिव केंद्रीय सतर्कता आयोग, कुलपति, एटार्नी जनरल, चेयरमैन, सदस्य, सचिव, पीएससी, एसीएसटी व ओबीसी कमीशन अल्पसंख्यक महिला आयोग, चेयरमैन, वाइस चेयरमैन, सदस्य, केंद्रीय प्रशासनिक प्राधिकरण, आर्मी कमांडर, चीफ वाइस आर्मी स्टाफ या समतुल्य, चेयरपर्सन, वाइस चेयरपर्सन, सचिव प्रेस काउंसिल ऑफ इंडिया, चुनाव आयुक्तगण, सरकार के सचिव, सेक्रेटरी जेनरल मानवाधिकार, अध्यक्ष व सचिव बिहार चैंबर ऑफ कॉमर्स, बिहार इंडस्ट्रीज एसोसिएशन, राज्य सरकार के संयुक्त सचिव या समतुल्य, जगत गुरु शंकराचार्य महाराज द्वारिका पीठ के नाम शामिल हैं. इसके अलावा एसी प्रथम श्रेणी के टिकटधारक को शामिल किया गया है.