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शहर बन गया नरक तोबा-तोबा. हर जगह कचरे की भरमार

दीपावली में महज सात दिन शेष है़ं दीपावली का बाजार सज रहा है, लेकिन शहर की हालत नारकीय है. सड़ांध मारते कूड़ेदान, यत्र-तत्र बिखरे कचरे इस शहर की बदहाल स्थिति को बयां कर रहा है. छठ में भी एक पखवारा बचा है. इस बार तो दीपावली के लिए बाजार की सफाई नहीं हो पायी है. […]

दीपावली में महज सात दिन शेष है़ं दीपावली का बाजार सज रहा है, लेकिन शहर की हालत नारकीय है. सड़ांध मारते कूड़ेदान, यत्र-तत्र बिखरे कचरे इस शहर की बदहाल स्थिति को बयां कर रहा है. छठ में भी एक पखवारा बचा है. इस बार तो दीपावली के लिए बाजार की सफाई नहीं हो पायी है. मुहल्लों की स्थिति तो और भी बदतर है.

मधेपुरा : इस बीच डीएम की फटकार तथा मुख्य पार्षद द्वारा सख्त रवैया अपनाने के बाद नगर परिषद कार्यालय ने पुलिस अधीक्षक को पत्रांक 1187 भेज कर पुलिस बल की मांग की है. एसपी द्वारा बल की उपलब्धता के आधार पर पुलिस बल देने की बात कही गयी है. स्थानीय सफाई कर्मियों ने नगर परिषद के अधीन काम करने को मुद्दा बना कर हड़ताल कर रखा है.
इस मामले में नगर परिषद प्रशासन को लगभग दस दिन पूर्व से एनजीओ द्वारा लिख कर दिया गया है कि उनके मजदूरों को काम नहीं करने दिया जा रहा है. उनके मजदूरों के साथ स्थानीय सफाई कर्मी दुर्व्यवहार कर रहे है. इस मामले में कार्यपालक पदाधिकारी ने वरीय अधिकारी से दिशा निर्देश मांगा़ इसके आलोक में गुरूवार को जिलाधिकारी द्वारा पुलिस बल प्राप्त करने के लिए एसपी से अधियाचना करने का निर्देश दिया गया़
इसके बाद कार्यपालक पदाधिकारी द्वारा शुक्रवार को एसपी विकास कुमार से दो पुलिस पदाधिकारी समेत दो दर्जन पुलिस बल, महिला सिपाही मांगा गया है. इसमें वार्ड नंबर एक से 13 तक कार्यरत पंच फाउंडेशन को आठ पुरूष पुलिस बल एवं चार महिला पुलिस बल समेत एक पुलिस पदाधिकारी तथा जीवन ज्योंति संस्थान को 14 से 26 वार्ड के लिए आठ पुरूष पुलिस बल एवं चार महिला पुलिस बल समेत एक पुलिस पदाधिकारी प्रदान किया जायेगा.
43.84 हजार चुकाएं मुख्य पार्षद व कार्यपालक पदाधिकारी. बिहार सरकार ने शहरी स्थानीय निकायों को दैनिक मजदूरी कार्य पर लगाने से प्रतिबंधित कर दिया है.कार्यपालक पदाधिकारी ने बताया कि बिहार सरकार के पत्र संख्या 04 नसे 01-103/87-1231 नविवि समेत अन्य पत्र द्वारा शहरी स्थानीय निकायों को दैनिक मजदूरी पर कार्य पर लगाने से प्रतिबंधित किया गया है. वहीं इसी पत्रांक द्वारा साफ सफाई कार्य बाह्य श्रोत से निविदा कर कराने का निर्देश है. इतना ही नहीं वर्ष 2013 – 14 एवं 2014-15 में दैनिक मजदूरी पर हुए 43 लाख 84 हजार 184 रुपये के भुगतान को अनियमितता बताया है.
सशक्त स्थायी समिति सदस्य ने लगाये गंभीर आरोप. सशक्त स्थायी समिति के सदस्य सह वार्ड पार्षद ध्यानी यादव कहते हैं कि नगर परिषद में मुख्य पार्षद के स्तर से कार्रवाई करते हुए अस्थायी सफाई मजदूरों के लिए कई बार विभाग को रिक्ति भेज कर पद स्वीकृत करने एवं बहाल करने के लिए निर्देश देने का अनुरोध किया गया. सशक्त स्थायी समिति द्वारा भी इस आशय पर चर्चा कर बिहार सरकार से अनुरोध किया गया. लेकिन बिहार सरकार ने पत्र भेज कर यह साफ कर दिया कि कोई बहाली नहीं होगी. दैनिक मजदूरी पर भी प्रतिबंध बहुत पहले लगाया गया. लेकिन किसी तरह से इन मजदूरों का भुगतान जारी रहा.
यही वजह है कि आज इस भुगतान के कारण सशक्त स्थायी समिति, मुख्य पार्षद डा विशाल कुमार बबलु तथा कार्यपालक पदाधिकारी को जिम्मेवार मानकर राशि वसूलने का निर्देश दिया गया है.
अस्थायी सफाई कर्मी की आड़ में एनजीओ से मोल-जोल. वार्ड पार्षद ध्यानी यादव ने कहा कि वर्तमान में नगर परिषद में किसी भी तरह से दैनिक मजदूरी पर बिहार सरकार द्वारा प्रतिबंध लगाया गया. तब जाकर आउट सोर्शिंग से सफाई कार्य शुरू कराना पड़ा. उन्होंने गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि अस्थायी सफाई कर्मचारी के आड़ में एक व्यक्ति एनजीओ से मोल जोल करने में जुटा है.
कहते हैं सफाई कर्मी. सफाई कर्मियों का कहना है उनलोगों ने अपनी सेवा स्थायी करण के लिए हाइकोर्ट में मामला दायर किया है. इस मामले के निपटारा तक नगर परिषद को उनलोगों से काम लेना चाहिए. इनका यह भी कहना है कि आखिरकार 15 साल से उन्हें यह क्यों नहीं बताया गया कि उनका पद स्वीकृत नहीं है़ वहीं इन मजदूरों का कहना है कि बाहर से मजदूर लाकर इनकी रोजी रोटी छीनी जा रही है. उसका भी विरोध कर रहे हैं.
कहते हैं एनजीओ संचालक. पंच फाउंडेशन एवं जीवन ज्योति संस्थान के संचालक कहते हैं कि डोर टू डोर कचरा संग्रह समेत शहर की सफाई के लिए उन्हें कार्य आवंटित है. स्थानीय सफाई कर्मियों को प्राथमिकता के आधार पर कार्य करने का आग्रह किया गया. लेकिन वे लोग एक दो दिन कार्य करने के बाद विरोध करने लगे. इसके बाद एनजीओ इस मामले में कार्यपालक पदाधिकारी को पत्र लिख कर अविलंब हस्तक्षेप की गुहार लगायी. दोनों एनजीओ का कहना है कि स्थानीय सफाई कर्मी कार्य नहीं करना चाहते है और शहर की सफाई व्यवस्था दुरूस्त हो इसका भी विरोध करते हुए हाथा पायी पर उतारू हो जाते हैं.
कहते हैं कार्यपालक पदाधिकारी.कार्यपालक पदाधिकारी मनोज कुमार पवन ने कहा पुलिस अधीक्षक दो पुलिस पदाधिकारी समेत दो दर्जन पुलिस बल के लिए अधियाचना की है़ कार्यपालक ने स्पष्ट कहा दैनिक मजदूर रख कर कार्य कराना संभव नहीं है़ सरकारी पत्र व बिहार सरकार के सख्त निर्देश से वे बंधे हुए है़ं पुलिस बल प्राप्त होते ही नगर परिषद सफाई कार्य को गति दी जायेगी. किसी भी तरह के व्यवधान करने वालों पर कानूनी कार्रवाई होगी.

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