बैकुंठपुर : पूर्वोत्तर रेलवे के थावे-छपरा रेलखंड पर थावे से छपरा जा रही सवारी गाड़ी 55181 के मंगलवार की सुबह बोलेरो से टकराते ही जो आवाज निकली उससे यात्रियों की सांसें अटक गयीं. ट्रेन में सवार गोपालगंज के अधिवक्ता नगर के रंजीत श्रीवास्तव, आशा देवी, वीरेंद्र प्रसाद, सुरेश प्रसाद, मनोज गुप्ता आदि ने बताया कि जैसे ही बोलेरो से ट्रेन टकरायी, जोर की आवाज निकली. डिब्बा हिल गया. इमरजेंसी ब्रेक लगने के कारण तेज झटका लगा. पहले तो लगा कि ट्रेन डीरेल हो गयी.
संयोग था कि ट्रेन काफी स्लो थी और बड़ा हादसा होने से बचा.
पथराव से दहशत में आये यात्री: ट्रेन के टकराते ही कुछ लोगों ने पथराव शुरू कर दिया. पथराव को देख यात्री दहशत में आ गये. लोग ट्रेन में छुपने लगे. कुछ लोग समझ नहीं पा रहे थे कि हो क्या रहा है. जब चालक गंभीर रूप से घायल हो गया तो पथराव बंद हुआ. बोलेरो पर सवार लोग ट्रेन चालक को दोषी मान रहे थे.
रसोई गैस लेकर जा रहे थे बोलेरो सवार: प्रत्यक्षदर्शी बताते हैं कि बोलेरो सवार लोग रेवतिथ स्थित प्रीयम ग्रामीण रसोई गैस वितरण केंद्र से गैस भरवा कर जा रहे थे. जैसे ही उनकी बोलेरो मानवरहित बनकटी उत्तर के ढाला पर पहुंची कि अचानक बंद हो गयी. 11 मिनट तक बोलेरो में सवार लोग और चालक मिलकर बोलेरो को स्टार्ट करने और उसे धक्का लेकर अलग करने का प्रयास कर रहे थे कि इतने में ट्रेन पहुंच गयी.
…और फूट-फूटकर रोने लगी विमला
मांझा से मशरख जाने के लिये ट्रेन में सवार हुईं विमला इंजन के बाद वाली डिब्बा में सवार थीं. विमला को अपने चाची के इलाज के लिए जाना था. चाची मशरख के किसी अस्पताल में जीवन मौत से जूझ रही हैं. विमला के पास इतना पैसा नहीं था कि वह बस से मशरख जा सके. उसकी स्थिति को देख गांव के राजेश कुंवर ने सौ रुपये देकर उसे मशरख के लिए मैजिक वाहन से भिजवाया.
अधिकतर यात्रियों को दूसरे वाहन का लेना पड़ा सहारा
थावे से मशरख, मढ़ौरा, राजापट्टी, दिघवा दुबौली जाने वाले सैकड़ों की संख्या में यात्रियों को घंटों इंतजार के बाद दूसरे वाहन का सहारा लेना पड़ा. यात्री बार-बार ईश्वर को धन्यवाद दे रहे थे कि सुरक्षित जान बची. कोई फोन से बाइक मंगा रहा था तो कोई एक किमी दूर महम्मदपुर-लखनपुर पथ पर पहुंच कर सवारी गाड़ी से अपनी यात्रा की. कई यात्री जो छपरा जाने वाले थे ,वे ट्रेन में घंटों इंतजार करते रहे.