भागलपुर: तपस्वी हॉस्पिटल प्रकरण में मंगलवार को महापंचायत संघर्ष समिति की ओर से चंपा पुल पर और बुद्धिजीवी मंच की ओर से नवगछिया के तेतरी में महाजाम लगाया गया. जाम से लोगों को भारी परेशानी हुई. सड़क के दोनों तरफ वाहनों की लंबी कतार लग गयी. भागलपुर जिला मुख्यालय का राज्य मुख्यालय, पटना से घंटों सीधा सड़क संपर्क भंग रहा. अब संघर्ष समिति अप रेल लाइन जाम करने की रणनीति बना रही है, तो मंच के लोगों ने पीरपैंती, नवगछिया व अन्य जगहों पर जाम की चेतावनी दी है.
दूसरी ओर इस मामले में पुलिस की गतिविधि मंगलवार को भी ढुलमुल ही रही. चिकित्सक की गिरफ्तारी वारंट पर पुलिस की ओर से जांच कर्ता के नहीं पहुंचने के कारण सुनवाई नहीं हुई. इस कारण वारंट भी जारी नहीं हो सका. पीड़िता के 164 के बयान के संबंध में भी कुछ ऐसी ही स्थिति रही. मंगलवार को इस संबंध में पुलिस की ओर से कुछ नहीं किया गया. यह भी पुलिस स्पष्ट नहीं कर पायी है कि वह बुधवार को कुछ सार्थक पहल करेगी.
चंपा पुल पर टायर जला कर किया प्रदर्शन
आरोपी चिकित्सक डॉ मृत्युंजय कुमार की गिरफ्तारी की मांग को लेकर महापंचायत संघर्ष समिति ने नाथनगर के चंपा नाला पुल पर चक्का जाम किया. नाथनगर प्रखंड के गोसाईंदासपुर समेत विभिन्न पंचायत व शहर से चार हजार से भी अधिक लोग जाम में शामिल थे. सभी डॉ मृत्युंजय की अविलंब गिरफ्तारी की मांग कर रहे थे. जाम के दौरान लोगों ने सड़क पर टायर जला कर अपना आक्रोश जताया. जाम के दौरान प्रशासन या पुलिस का कोई भी पदाधिकारी प्रदर्शन स्थल पर नहीं पहुंचा. नाथनगर सीओ तरुण कुमार, पुलिस बल व रैफ के जवानों के साथ चंपा पुल से काफी पहले दूरी से मौके पर नजर जमाये हुए थे.
मरीजों को कराया गया पुल के पार
महापंचायत की बैठक में युवाओं के दबाव पर एंबुलेंस तक को पुल पार नहीं करने देने का निर्णय लिया गया था. सुबह 11 बजे तक दो एंबुलेंस को लौटा दिया गया, लेकिन फिर मानवता के नाम पर कई एंबुलेंस को पुल पार कराया गया. संघर्ष समिति द्वारा शांतिपूर्ण आंदोलन के निर्णय को ध्यान में रखते हुए युवाओं ने दर्जनों मरीजों को सुरक्षा के साथ पुल पार कराया. लोगों को पैदल भी पार करने दिया गया. संघर्ष समिति की ओर से किये गये महा चक्का जाम में विभिन्न वर्ग व क्षेत्र के लोगों का आक्रोश सड़क पर जनसैलाब बन कर उमड़ा. पूर्व घोषित कार्यक्रम के अनुसार सुबह नौ बजे से साढ़े चार बजे तक साढ़े सात घंटे तक महाजाम लगा रहा. शाम चार बजे जाम समाप्त करने की घोषणा के बाद वाहनों की लंबी कतार देख युवा आंदोलनकारी जाम हटाने को तैयार ही नहीं थे. संघर्ष समिति सदस्य व बड़े-बुजुर्गो के समझाने पर जाम हटाया गया और यातायात सामान्य हो पाया.
वारंट व 164 के बयान पर नहीं हुई सुनवाई
पीड़िता का पुलिस द्वारा 164 का बयान नहीं कराने को लेकर पीड़ित पक्ष के अधिवक्ता डॉ राजेश कुमार तिवारी ने सोमवार को सीजेएम कोर्ट में 164 का बयान लेने और आरोपी डॉक्टर कि खिलाफ वारंट देने को लेकर आवेदन दिया था. मंगलवार को इस पर सुनवाई होनी थी, लेकिन मामले के अनुसंधानकर्ता के कोर्ट नहीं पहुंचने के कारण सुनवाई नहीं हो पायी.
तेतरी में मामले की निष्पक्ष जांच की मांग
बुद्धिजीवी मंच की ओर से नवगछिया के तेतरी में महाजाम लगाया गया. जाम के दौरान लोगों ने मामले में निष्पक्ष जांच की मांग की. जाम कर रहे लोगों ने कहा कि मामले को लेकर अगर शहर को अशांत करने की नेताओं की साजिश चलती रही, तो पीरपैंती, नवगछिया, भागलपुर शहर और सुलतानगंज में भी बुद्धिजीवी मंच न्याय के लिए चक्का जाम करेगा.