कोलकाता : तूफान फोनी के सुबह पड़ोसी राज्य में आगमन के पहले ही लोकसभा चुनाव के तहत पांचवें चरण के चुनाव प्रचार की हवा निकल गयी थी. नियमानुसार सोमवार को होने वाले पांचवें चरण के मतदान के लिए चुनाव प्रचार शनिवार को थम जाना था, लेकिन फोनी के आगमन की आहट ने पहले ही प्रचार की कमर तोड़ दी. सोमवार को पांचवें चरण का मतदान बनगांव, बैरकपुर, हावड़ा, उलबेड़िया, श्रीरामपुर, हुगली और आरामबाग लोकसभा केंद्र के लिए होगा. हालांकि तूफान फोनी ने उम्मीदवारों के चुनाव प्रचार को बुरी तरह बाधित किया.
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‘फोनी’ की आंधी में निकली ‘तूफानी रैलियों’ की हवा
कोलकाता : तूफान फोनी के सुबह पड़ोसी राज्य में आगमन के पहले ही लोकसभा चुनाव के तहत पांचवें चरण के चुनाव प्रचार की हवा निकल गयी थी. नियमानुसार सोमवार को होने वाले पांचवें चरण के मतदान के लिए चुनाव प्रचार शनिवार को थम जाना था, लेकिन फोनी के आगमन की आहट ने पहले ही प्रचार […]
चुनाव प्रचार के लिए शनिवार शाम तक का वक्त उम्मीदवारों के पास था, लेकिन सुबह से रह-रह कर हो रही बारिश और तेज हवाओं ने उनकी उम्मीदों पर पानी फेर दिया. कमोबेश सभी उम्मीदवारों को अपनी सभाओं को रद्द कर देना पड़ा, उनके रोड शो पर लगाम लग गयी और घर-घर जाकर प्रचार कार्य का काम भी बड़ी मुश्किल से ही वह अंजाम दे सके. फोनी का कहर केवल उम्मीदवारों पर ही नहीं बरसा, बल्कि हाई-प्रोफाइल नेताओं को भी अपनी सभाओं में फेरबदल करने पर मजबूर होना पड़ा.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की पांच मई को झाड़ग्राम स्टेडियम में होने वाली सभा को रद्द कर दिया गया है. तेज हवाओं और बारिश की वजह से मंच बनाने का काम बाधित हुआ है. अब यह सभा छह मई को होगी. उनके अलावा राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की पांच मई को गोपीवल्लभपुर और बेलपहाड़ी में होने वाली सभाओं को भी रद्द कर दिया गया है.
मुख्यमंत्री खड़गपुर में रह कर ही फोनी पर नजर रख रही हैं.
न केवल मुख्यमंत्री बल्कि चुनाव आयोग की नजर भी फोनी पर है. राज्य के अतिरिक्त मुख्य चुनाव अधिकारी संजय बसु ने बताया कि आयोग फोनी पर नजर रखे हुए है. जिलों के डीएम व रिटर्निंग ऑफिसर के साथ राज्य के मुख्य चुनाव अधिकारी डॉ आरिज आफताब ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से बात की.
उन्हें सतर्क रहने के लिए कहा गया है. यह तय किया गया है कि अगर जरूरत पड़ी तो डीसीआरसी (वह स्थान जहां से चुनाव कर्मियों को चुनाव सामग्री मिलती है और प्रिसाइडिंग अधिकारी रिपोर्ट करते हैं) इनडोर बनाया जायेगा. मतदान केंद्रों के क्षतिग्रस्त होने की स्थिति में तुरंत मरम्मत की व्यवस्था की गयी है.
चुनाव कर्मियों को लाने-ले जाने के लिए बसों, छोटी गाड़ियों की व्यवस्था रहेगी. सभी जिलों के डीएम को ‘प्लान बी’ तैयार रखने के लिए कहा गया है. समस्या होने की स्थिति में उस पर अमल किया जायेगा. इसके अलावा एक विशेष टीम तैयार रखी गयी है, जो सड़क पर पेड़ों के गिरने की स्थिति में तुरंत उन्हें हटा देगी. जिला स्तर पर इंजीनियरिंग विभाग सेे समन्वय रखा जा रहा है. इसके अलावा चौबीसों घंटे खुला रहनेवाला कंट्रोल रूम भी खोला गया है.
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