GRAP-III Imposed : दिल्ली-एनसीआर में जीआरएपी चरण-3 लागू, इन चीजों पर पूरी तरह से लगाया गया प्रतिबंध

GRAP-III Imposed : वायु गुणवत्ता में भारी गिरावट के चलते केंद्र सरकार ने दिल्ली-एनसीआर में जीआरएपी चरण-3 लागू कर दिया है. इसके तहत गैर-जरूरी निर्माण कार्यों और प्रदूषण बढ़ाने वाली गतिविधियों पर सख्त पाबंदी लगाई गई है.

By Amitabh Kumar | November 11, 2025 10:22 AM

GRAP-III Imposed : दिल्ली का औसत वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) इस मौसम में पहली बार ‘गंभीर’ श्रेणी में पहुंच गया. इसके बाद केंद्र सरकार ने दिल्ली-एनसीआर में जीआरएपी चरण-3 लागू कर दिया. मंगलवार से जीआरएपी (GRAP) के तीसरे चरण को तुरंत लागू कर दिया गया है. सोमवार को AQI 362 था, जो मंगलवार सुबह 9 बजे तक बढ़कर 425 हो गया, जिससे प्रदूषण की स्थिति और खराब हो गई.

केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB) के समीर ऐप के अनुसार, मंगलवार सुबह 7 बजे दिल्ली के 39 में से 34 एक्टिव सेंटर पर वायु गुणवत्ता ‘गंभीर’ श्रेणी में दर्ज की गई. बवाना में AQI 462, वजीरपुर में 460, जबकि मुंडका और पंजाबी बाग में 452 दर्ज किया गया. एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) 51 से 100 के बीच ‘संतोषजनक’, 101 से 200 ‘मध्यम’, 201 से 300 ‘खराब’, 301 से 400 ‘बहुत खराब’ और 400 से ऊपर ‘गंभीर’ श्रेणी में माना जाता है.

GRAP-III Imposed : किस चीज पर रहेगा प्रतिबंध?

गैर-जरूरी निर्माण और तोड़फोड़ की सभी गतिविधियों पर पूरी तरह प्रतिबंध लगा दिया गया है. इसमें मिट्टी की खुदाई, पाइलिंग, सीवर लाइन या बिजली की केबल बिछाने के लिए गड्ढे में किया जाने वाला काम, इसके अलावा रेडी-मिक्स कंक्रीट (RMC) बैचिंग प्लांट का संचालन शामिल है.

दिल्ली, गुरुग्राम, फरीदाबाद, गाजियाबाद और नोएडा में सभी प्राइवेट बीएस-III पेट्रोल और बीएस-IV डीजल फोर व्हीलर गाड़ी (LMVs) के चलने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है.

अन्य प्रतिबंधों में गैर-जरूरी डीजल से चलने वाले बीएस-IV मीडियम गुड्स गाड़ियों पर रोक शामिल है. इसके अलावा, दिल्ली के बाहर रजिस्टर्ड बीएस-IV या उससे नीचे श्रेणी के डीजल लाइट कमर्शियल गाड़ियों के प्रवेश पर भी प्रतिबंध लगाया गया है. उन गाड़ियों को जो जरूरी सामान ढो रहे हैं या आवश्यक सेवाएं दे रहे हैं, उन्हें इससे छूट दी गई है.

प्राइवेट कंपनियों को सलाह दी गई है कि वे गाड़ियों से होने वाले प्रदूषण को कम करने के लिए वर्क फ्रॉम होम या हाइब्रिड वर्क सिस्टम (कुछ ऑफिस और कुछ घर से काम) अपनाएं.