India Pakistan Tension के बीच बड़ी खबर, डोनाल्ड ट्रंप ने चीन की घटा दी टैरिफ

India Pakistan Tension: भारत-पाकिस्तान तनाव के बीच डोनाल्ड ट्रंप ने चीन पर लगाए गए टैरिफ को घटाने का ऐलान किया है. यह कदम अमेरिका-चीन ट्रेड वॉर को कम करने की दिशा में माना जा रहा है. स्विट्जरलैंड में दोनों देशों के बीच उच्च स्तरीय बैठक से पहले यह निर्णय वैश्विक व्यापार में नरमी का संकेत देता है.

By KumarVishwat Sen | May 9, 2025 7:50 PM

India Pakistan Tension: भारत-पाकिस्तान के बीच जारी तनाव के बीच अमेरिका से एक बड़ी खबर आ रही है. वह यह है कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने नरमी का प्रदर्शन करते हुए चीन पर लगाए गए टैरिफ को घटाने का ऐलान किया है. अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने चीन पर लगे सीमा शुल्क को घटाकर 80% करने का शुक्रवार को प्रस्ताव रखा है. डोनाल्ड ट्रंप के इस कदम को दोनों देशों के बीच छिड़े ट्रेड वॉर को कम करने के तौर पर देखा जा रहा है. इस सप्ताह के अंत में चीन और अमेरिका के बीच बैठक होने वाली है और इस बैठक से पहले टैरिफ में कटौती को अहम माना जा रहा है.

स्विट्जरलैंड में होगी अमेरिका-चीन की बैठक

समाचार एजेंसी पीटीआई की रिपोर्ट के अनुसार, अमेरिकी के टॉप अफसर इस सप्ताह के अंत में स्विट्जरलैंड में चीन के उच्चस्तरीय प्रतिनिधिमंडल के साथ बैठक करने वाले हैं. ट्रेड वॉर शुरू होने के बाद दोनों देशों के बीच यह पहली बड़ी बातचीत होगी. आयात पर सबसे अधिक टैरिफ लगाने के ट्रंप के फैसले के बाद चीन ने भी जवाबी कदम उठाए और दोनों देशों के बीच ट्रेड वॉर जैसी स्थिति बन गई.

किस-किस के बीच होगी बातचीत

ट्रंप प्रशासन ने मंगलवार को घोषणा की थी कि वित्त मंत्री स्कॉट बेसेंट और अमेरिकी व्यापार प्रतिनिधि जैमीसन ग्रीर जिनेवा में अपने समकक्षों से मिलेंगे. यह पिछले कुछ महीनों में दोनों देशों के बीच सबसे वरिष्ठ स्तर की बातचीत होगी.

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अमेरिकी टैरिफ के बाद चीन ने भी की जवाबी कार्रवाई

ट्रंप के शुल्क लगाने के बाद अप्रैल में चीन ने भी जवाब में अमेरिका पर टैरिफ लगाने की घोषणा की थी. अब चीन के खिलाफ अमेरिका का टैरिफ 145% है, जबकि अमेरिका पर चीन ने 125% टैरिफ लगा रखा है. चीन से आयात पर सीमा शुल्क घटाने का फैसला अमेरिका में उपभोक्ता वस्तुओं की कीमतों और आपूर्ति पर शुल्क के प्रभाव को लेकर बढ़ती चिंता के बीच किया गया है. अमेरिका के ट्रेड वॉर से दुनिया के सबसे बड़े निर्यातक और दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था चीन को सर्वाधिक नुकसान हुआ है.

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