कश्मीर भारत का था, है और रहेगा, 5.49 मिनट में ‘आतंकवाद के वैश्विक केंद्र’- पाकिस्तान की उतरी इज्जत, देखें

India Slams Pakistan at UNSC: संयुक्त राष्ट्र की सुरक्षा परिषद की बैठक के दौरान ‘शांति के लिए नेतृत्व’ विषय पर आयोजित खुली बहस के दौरान भारत ने पाकिस्तान के सारे दावों की हवा खोल दी. भारत ने एक बार फिर दोहराया कि लद्दाख सहित यह केंद्र शासित प्रदेश भारत का अभिन्न और अविभाज्य हिस्सा है तथा “था, है और हमेशा रहेगा.” भारत के स्थायी प्रतिनिधि राजदूत हरीश पर्वतनैनी ने पाकिस्तान को “आतंकवाद का वैश्विक केंद्र” करार दिया. उन्होंने सिंधु जल समझौते पर पाकिस्तान के उल्लंघन की भी पोल खोली.

By Anant Narayan Shukla | December 16, 2025 9:37 AM

India Slams Pakistan at UNSC: संयुक्त राष्ट्र की सुरक्षा परिषद में भारत ने जम्मू-कश्मीर से जुड़े अनसुलझे विवाद संबंधी इस्लामाबाद के दावों को सख्ती से खारिज किया. संयुक्त राष्ट्र की बैठक के दौरान ‘शांति के लिए नेतृत्व’ विषय पर आयोजित खुली बहस के दौरान भारत ने पाकिस्तान दावों को अनावश्यक बताया. भारत ने एक बार फिर दोहराया कि लद्दाख सहित यह केंद्र शासित प्रदेश भारत का अभिन्न और अविभाज्य हिस्सा है तथा “था, है और हमेशा रहेगा.” बहस के दौरान पाकिस्तान की टिप्पणियों का उल्लेख करते हुए संयुक्त राष्ट्र में भारत के स्थायी प्रतिनिधि राजदूत हरीश पर्वतनैनी ने पाकिस्तान को “आतंकवाद का वैश्विक केंद्र” करार दिया. उन्होंने पाकिस्तान पर संयुक्त राष्ट्र के मंच का इस्तेमाल भारत और उसके लोगों को नुकसान पहुंचाने के अपने “सनकी जुनून” को आगे बढ़ाने के लिए करने का आरोप लगाया.

हरीश पर्वतनैनी ने कहा कि विभाजनकारी एजेंडे पर चल रहा पाकिस्तान, सुरक्षा परिषद के अस्थायी सदस्य के रूप में अपनी अंतरराष्ट्रीय जिम्मेदारियों को कमजोर कर रहा है. राजदूत पर्वतनैनी ने कहा, “मैं आज पाकिस्तान के प्रतिनिधि द्वारा दिए गए बयान का उल्लेख करना चाहता हूं. भारत यह दोहराना चाहता है कि जम्मू-कश्मीर और लद्दाख के केंद्र शासित प्रदेश भारत का अभिन्न और अविभाज्य हिस्सा हैं. वे थे, हैं और हमेशा रहेंगे. आज की खुली बहस में जम्मू-कश्मीर का पाकिस्तान द्वारा किया गया अनावश्यक उल्लेख भारत और उसके लोगों को नुकसान पहुंचाने पर उसके सनकी फोकस को दर्शाता है.” उन्होंने आगे कहा, “एक ऐसा अस्थायी सदस्य, जो सुरक्षा परिषद और संयुक्त राष्ट्र के सभी मंचों पर अपने विभाजनकारी एजेंडे को आगे बढ़ाने के लिए इसी जुनून को बढ़ावा देता है, उससे यह उम्मीद नहीं की जा सकती कि वह अपनी निर्धारित जिम्मेदारियों और दायित्वों का सही ढंग से निर्वहन करेगा.”

सिंधु जल समझौता तब तक रद्द, जब तक पाकिस्तान नहीं सुधरता

पाकिस्तान के आतंकवाद को प्रायोजित करने के लंबे रिकॉर्ड को रेखांकित करते हुए भारतीय राजदूत ने सिंधु जल संधि को स्थगित रखने के भारत के फैसले का जोरदार बचाव किया. उन्होंने कहा कि भारत ने 65 वर्ष पहले सद्भावना और मित्रता की भावना के साथ इस संधि में प्रवेश किया था, लेकिन पाकिस्तान ने तीन युद्ध छेड़कर और हजारों आतंकी हमलों को अंजाम देकर बार-बार इसकी भावना का उल्लंघन किया.

वहीं अप्रैल 2025 के पहलगाम आतंकी हमले का हवाला देते हुए, उन्होंने कहा कि यह घटना आतंकवाद को पाकिस्तान के निरंतर समर्थन को साफ तौर पर उजागर करती है. इस हमले में धर्म के आधार पर लक्षित हमले में 26 निर्दोष नागरिक मारे गए थे. उन्होंने आगे कहा कि इसी पृष्ठभूमि में भारत ने अंततः यह घोषणा की है कि सिंधु जल संधि को तब तक स्थगित रखा जाएगा, जब तक पाकिस्तान, जो आतंकवाद का वैश्विक केंद्र है, सीमा पार और आतंकवाद के सभी अन्य रूपों को समर्थन देना विश्वसनीय और अपरिवर्तनीय रूप से समाप्त नहीं कर देता.”

पाकिस्तान में हुए संवैधानिक तख्तापलट पर भी घेरा

पर्वतनैनी ने पाकिस्तान की आंतरिक राजनीतिक स्थिति की भी आलोचना की और लोकतांत्रिक जनादेश को दबाने का आरोप लगाया. उन्होंने पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान को जेल में डाले जाने, सत्तारूढ़ राजनीतिक दल पर प्रतिबंध लगाने और 27वें संविधान संशोधन के जरिए सेना द्वारा “संवैधानिक तख्तापलट” कर अपने चीफ ऑफ डिफेंस फोर्सेज जनरल असीम मुनीर को आजीवन प्रतिरक्षा देने का उल्लेख किया. उन्होंने जोर देकर कहा, “मैं स्पष्ट कर देना चाहता हूं कि भारत पाकिस्तान-प्रायोजित आतंकवाद का उसके सभी रूपों और अभिव्यक्तियों में पूरी ताकत से मुकाबला करेगा.” भारत की यह तीखी प्रतिक्रिया तब आई, जब पाकिस्तान के प्रतिनिधि ने जम्मू-कश्मीर को लेकर “अनसुलझे विवाद” के दावे दोहराए और सिंधु जल संधि को निलंबित किए जाने की आलोचना की.

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