Mahant Narendra Giri Death Case: महंत नरेंद्र गिरि की मौत मामले की जांच करने बाघंबरी मठ पहुंची सीबीआई टीम

Mahant Narendra Giri death case: महंत नरेंद्र गिरि की मौत मामले की जांच के लिए केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) की टीम बाघंबरी मठ पहुंच गई है. महंत नरेंद्र गिरि 20 सितंबर को अपने आवास पर मृत पाए गए थे.

By Prabhat Khabar Digital Desk | September 25, 2021 5:20 PM

Mahant Narendra Giri death case: अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि मौत मामले की जांच के लिए केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) की टीम बाघंबरी मठ पहुंच गई है. महंत नरेंद्र गिरि 20 सितंबर को अपने बाघंबरी मठ स्थित आवास पर मृत पाए गए थे.

बता दें, महंत नरेंद्र गिरि की सोमवार को संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई थी. उनके कमरे से एक सुसाइड नोट भी बरामद हुआ था, जिसमें उन्होंने अपने शिष्य आनंद गिरि पर मानसिक रूप से परेशान करने का आरोप लगाया था. इस पर पुलिस ने आनंद गिरि को गिरफ्तार कर जिला अदालत में पेश किया, जहां से उसे 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया. आनंद गिरि के हरिद्वार स्थित आश्रम को भी सील कर दिया गया है. मामले में दो अन्य आरोपी लेटे हनुमान मंदिर के पुजारी आद्या तिवारी और उसके बेटे को पुलिस ने गिरफ्तार कर 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया है.

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महंत नरेंद्र गिरि की संदिग्ध मौत के बाद अब उनके वसीयत को लेकर माथापच्ची हो रही है. महंत नरेंद्र गिरि की तीन वसीयतों का पता चला है. वसीयत बनाने वाले वकील ऋषिशंकर द्विवेदी महंत नरेंद्र गिरि की तीन वसीयतें होने की जानकारी दी है. उन्होंने कहा कि महंत नरेंद्र गिरि ने तीन बार बाघंबरी मठ की वसीयत बनवाई थी. ऋषिशंकर द्विवेदी ने यह भी कहा कि दो बार तो महंत नरेंद्र गिरि ने वसीयत में बदलाव करवाए थे.

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वसीयत बनाने वाले वकील ऋषिशंकर द्विवेदी की मानें तो महेत नरेंद्र गिरि ने पहली वसीयत 7 जनवरी 2010 को बनवाई गई थी. उस वसीयत में उन्होंने मठ की संपत्ति बलबीर गिरि के नाम कर दी थी. इसके बाद 2011 में महंत नरेंद्र गिरि ने वसीयत बदल कर मठ की सारी संपत्ति अपने शिष्य आनंद गिरि के नाम कर दी. हालांकि, कई सालों बाद 2020 में फिर उन्होंने वसीयत बदलकर मठ की सारी संपत्ति बलबीर गिरि के नाम कर दी.

महंत नरेंद्र गिरि के सुसाइड नोट में बतौर उत्तराधिकारी बलवीर गिरि का ही नाम शामिल है. बाघंबरी मठ के पास करीब 200 करोड की संपत्ति है.

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Posted By : Achyut Kumar

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