झारखंड में कोरोना का रिकवरी रेट 90 फीसदी से ऊपर, मृत्यु दर बेहद कम, CM हेमंत ने सोनिया को दी रिपोर्ट

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा कि वर्तमान समय देश और राज्य के लिए चुनौतीपूर्ण है. आर्थिक और रोजगार का संकट हमारे समक्ष है. यह सामुहिक लड़ाई है. केंद्र सरकार को बतौर विपक्ष यूपीए विभिन्न राज्यों की स्थिति से अवगत कराए. हमने प्रधानमंत्री को झारखंड की स्थिति से अवगत कराया है. यूपीए द्वारा लागू की गयी मनरेगा किसानों, बेरोजगारों और जरूरतमंदों के लिए मील का पत्थर साबित होगा. अब झारखंड केंद्र को मनरेगा में नीतिगत अधिकार से आच्छादित करने का आग्रह करेगा, जिससे मनरेगा में योजना का चयन, मजदूरी दर का निर्धारण का अधिकार मिले.

By Prabhat Khabar Print Desk | May 22, 2020 10:25 PM

रांची : मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा कि वर्तमान समय देश और राज्य के लिए चुनौतीपूर्ण है. आर्थिक और रोजगार का संकट हमारे समक्ष है. यह सामुहिक लड़ाई है. केंद्र सरकार को बतौर विपक्ष यूपीए विभिन्न राज्यों की स्थिति से अवगत कराए. हमने प्रधानमंत्री को झारखंड की स्थिति से अवगत कराया है. यूपीए द्वारा लागू की गयी मनरेगा किसानों, बेरोजगारों और जरूरतमंदों के लिए मील का पत्थर साबित होगा. अब झारखंड केंद्र को मनरेगा में नीतिगत अधिकार से आच्छादित करने का आग्रह करेगा, जिससे मनरेगा में योजना का चयन, मजदूरी दर का निर्धारण का अधिकार मिले.

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मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन यूपीए शासित राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ सोनिया गांधी की अध्यक्षता में आयोजित वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में अपनी बात रख रहे थे. उन्होंने कहा कि राज्य सरकार दिव्यांगों, बुजुर्गों को उनकी क्षमता के अनुरूप रोजगार उपलब्ध करा रहा है, जिससे उनके आर्थिक स्वावलंबन का मार्ग प्रशस्त हो सके. राज्य में मनरेगा मजदूरी की दर कम है, जिसको बढ़ाने की मांग केंद्र सरकार से की गयी है.

सामाजिक सुरक्षा एवं स्वास्थ्य सेवाओं पर कार्य किया

मुख्यमंत्री ने बताया कि झारखंड में संक्रमण से पूर्व और बाद में सामाजिक सुरक्षा और बेहतर स्वास्थ्य सेवाओं पर कार्य किया गया. यह सुखद है कि झारखंड में संक्रमित लोगों का रिकवरी दर 90 प्रतिशत से ऊपर है, मृत्यु दर कम है. अपने सीमित संसाधनों से सरकार लोगों की सेवा में जुटी है. आनेवाले दिनों में हमें स्वास्थ्य सेवा में आत्मनिर्भर होना होगा. सरकार को इस बात का गर्व है कि आज सभी व्यवस्था सरकारी व्यवस्था पर टिका है. सरकारी व्यवस्था ने अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन बखूबी किया है. संकट के दौर में लोगों का भरोसा भी सरकारी व्यवस्था पर बढ़ा है.

धन संग्रह की व्यवस्था राज्य में भी होनी चाहिए

मुख्यमंत्री ने कहा कि जीएसटी की मार झारखंड झेल रहा है. समय पर झारखंड को उसका हिस्सा नहीं मिल पाता है. आर्थिक संकट देश समेत सभी राज्यों में है. राज्य में भी धन संग्रह की व्यवस्था होनी चाहिए. केंद्र द्वारा घोषित आर्थिक पैकेज से गरीबों, बेरोजगारों को क्या मिलेगा, यह सर्वविदित है. मजदूरों, किसानों और बेरोजगारों पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है.

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देश में लॉकडाउन फेल : राहुल गांधी

राहुल गांधी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान कहा कि हिंदुस्तान में लॉकडाउन फेल हो चुका है. लॉकडाउन ने अपना काम नहीं किया. देश में संक्रमण लगातार फैल रहा है. देश के करोड़ों लोगों को आर्थिक नुकसान हुआ है. गरीबों, किसानों, मजदूरों, लघु उद्योगों की मदद नहीं की गयी तो देश को आर्थिक संकट झेलना होगा. सरकार ने पैकेज के माध्यम से कर्ज देने की बात की है. देश की जनता जो कर नहीं देती है, उनके खाते में सरकार 7 से 8 हजार रुपये की आर्थिक मदद करे. हमें विपक्ष में रहते हुए भारत को आर्थिक संकट से उबारने के लिए सरकार पर दबाव बनाना होगा.

वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान पूर्व प्रधानमंत्री एचडी देवगौड़ा, पूर्व केंद्रीय गृह मंत्री पी चिदंबरम, गुलाम नबी आजाद, शरद पवार, पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी, महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे, सीताराम येचुरी, शरद यादव, उमर अब्दुल्ला, तेजस्वी यादव, पीके गुजारिकटी व यूपीए घटक दलों के प्रतिनिधि शामिल थे.

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