‘पिंक प्रोटेक्शन’ के जरिए महिलाओं के खिलाफ अपराध पर लगाम लगाएगी केरल सरकार, लॉकडाउन के दौरान बढ़ी घरेलू हिंसा

मुख्यमंत्री पिनरई विजयन ने 'पिंक प्रोटेक्शन' नाम की इस प्रोजेक्ट की शुरुआत की. इस प्रोजेक्ट के तहत तैयार की गई गाड़ियां सरकार की ओर से शुरू किए गए अभियान में शामिल अधिकारियों को सौंपी जाएंगी.

By Prabhat Khabar Print Desk | July 19, 2021 9:26 PM

तिरुअनंतपुरम : महिलाओं के खिलाफ होने वाले अपराध के खिलाफ केरल सरकार ने कड़े कदम उठाने शुरू कर दिए हैं. कोरोना महामारी की रोकथाम के लिए लगाए गए लॉकडाउन के दौरान ऐसे अपराधों में हुई बढ़ोतरी के मद्देनजर मुख्यमंत्री पिनरई विजयन की सरकार ने सोमवार को व्यापक स्तर पर एक कार्यक्रम की शुरुआत की है.

मीडिया में आ रही खबरों के अनुसार, मुख्यमंत्री पिनरई विजयन ने ‘पिंक प्रोटेक्शन’ नाम की इस प्रोजेक्ट की शुरुआत की. इस प्रोजेक्ट के तहत तैयार की गई गाड़ियां सरकार की ओर से शुरू किए गए अभियान में शामिल अधिकारियों को सौंपी जाएंगी. सरकार की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि महिला सुरक्षा अभियान के लिए सरकार ने 10 कार, 40 बाइक्स तथा 20 साइकिलें मुहैया कराई है.

क्या है पिंक प्रोटेक्शन

दरअसल, ‘पिंक प्रोटेक्शन’ अभियान दहेज उत्पीड़न, साइबर धमकी और सार्वजनिक स्थानों पर महिलाओं पर अत्याचार की रोकथाम से संबंधित केरल सरकार का अभियान है. पुलिस सूत्रों ने बताया कि सरकार की इस नई पहल के तहत इस अभियान को और भी मजबूत बनाया जाएगा.

लॉकडाउन में बढ़ा घरेलू अपराध

मुख्यमंत्री पिनरई विजयन ने कहा कि राज्य में लॉकडाउन के दौरान महिलाओं के खिलाफ अपराध में बढ़ोतरी देखी गई है. उन्होंने कहा कि पिंक प्रोटेक्शन अभियान ऐसे मुद्दों से निबटने से संबंधित है. बयान में कहा गया है कि विशेष रूप से प्रशिक्षित पिंक बीट अधिकारी सार्वजनिक स्थलों पर मौजूद रहेंगे और सभी 14 जिलों में पिंक नियंत्रण कक्ष होगा. इस अभियान से जुड़ा गश्ती दल भीड़भाड़ वाले स्थलों पर असामाजिक तत्वों की पहचान करके उनके खिलाफ कार्रवाई करेगा.

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Posted by : Vishwat Sen

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