भाजपा नेता दिलीप घोष ने सात फेरे लेकर किया जिंदगी की नयी पारी का शुभारंभ
पूर्व सांसद व बंगाल भाजपा के पूर्व अध्यक्ष दिलीप घोष सादगी और वैदिक रीति-रिवाज के साथ शुक्रवार को परिणय सूत्र में बंध गये.
न्यूटाउन स्थित ठिकाने पर पूरी हुईं शादी की रस्में, पार्टी कार्यकर्ताओं ने दी बधाई
संवाददाता, कोलकातापूर्व सांसद व बंगाल भाजपा के पूर्व अध्यक्ष दिलीप घोष सादगी और वैदिक रीति-रिवाज के साथ शुक्रवार को परिणय सूत्र में बंध गये. शुक्रवार शाम को 61 वर्षीय भाजपा नेता अपने न्यूटाउन स्थित आवास पर रिंकू मजूमदार के साथ अग्नि को साक्षी मानकर सात फेरे लेते हुए अपने वैवाहिक जीवन की शुरुआत की. शादी के मंडप में दुल्हन रिंकू लाल रंग की बनारसी साड़ी पहनकर पहुंची थीं, जबकि दिलीप पारंपरिक परिधान पीले रंग का कुर्ता और सफेद रंग का पायजामा पहन रखे थे. शादी में दिलीप घोष की मां समेत उनका परिवार और रिंकू के करीबी दोस्त शामिल हुए. इस शादी की सबसे महत्वपूर्ण बात यह रही कि अपने राजनीतिक जीवन में हमेशा से मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर कटाक्ष करने वाले दिलीप घोष को मुख्यमंत्री की ओर से शुभकामना संदेश के साथ फूलों का गुलदस्ता भेजा गया. नये जोड़े को शादी की बधाई देने के लिए केंद्रीय मंत्री सुकांत मजूमदार, राज्यसभा सांसद शमिक भट्टाचार्य, मंगल पांडे, लॉकेट चटर्जी सहित भाजपा के अन्य नेता उनके घर पहुंचे और बधाई दी. तृणमूल सांसद कीर्ति आजाद ने भी भाजपा नेता को बधाई दी है. शादी समारोह में पहुंचे अतिथियों के लिए रात्रि भोज में चावल, दाल, सब्जी, मछली, चटनी, रसगुल्ला और आइसक्रीम था. तलाकशुदा रिंकू मजूमदार से दिलीप घोष की मुलाकात लॉकडाउन के दौरान मॉर्निंग वॉक के दौरान हुई थी. रिंकू खुद भाजपा कार्यकर्ता हैं. बताया जाता है कि उन्होंने बिना देर किये ही दिलीप घोष को शादी का प्रस्ताव दिया था, लेकिन दिलीप ने इस प्रस्ताव को टाल दिया. इसके बाद भाजपा नेता की मां ने उन पर शादी का दबाव बनाया और मां की जिद के सामने उन्होंने शादी के लिए हामी भर दी और अंतत रिंकू से शादी करने का फैसला कर लिया.पार्टी कार्यकर्ताओं को शादी का न्यौता नहीं मिलने का मलाल
खड़गपुर. खड़गपुर शहर के पूर्व विधायक, मेदिनीपुर के पूर्व सांसद और भाजपा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष दिलीप घोष के दांपत्य जीवन को लेकर खड़गपुर शहर में भी चर्चा खूब हो रही है. खड़गपुर शहर के भाजपा के कई कार्यकर्ताओं ने दिलीप घोष के विवाह को लेकर खुशी जाहिर की है. उनका कहना है कि दिलीप घोष ने अपनी हर जिम्मेदारी को अच्छी तरह से निभाया है, अब वे वैवाहिक जीवन के दायित्व को भी बखूबी निभायेंगे. वहीं कुछ भाजपा कार्यकर्ताओं के मुताबिक दिलीप घोष का राजनीतिक जीवन खड़गपुर से ही शुरू हुआ था. खड़गपुर सदर से विधानसभा चुनाव जीतकर विधायक बने थे और अपने राजनीतिक जीवन का आगाज किया था. दिलीप घोष खड़गपुर जब भी आते थे तो पार्टी कार्यकर्ता ही उनके करीब होते थे. दिलीप घोष उनसे हर छोटी-बड़ी बातें शेयर करते थे, लेकिन उन्होंने कार्यकर्ताओं से अपनी शादी की बात छिपा ली. उन्हें भनक तक लगने नहीं दी और ना ही उन्हें शादी में शामिल होने का न्यौता मिला, इसका उन्हें मलाल है.
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