बंगाल : एप्स का करता था गलत इस्तेमाल, पहुंचा जेल
विकास गुप्ता कोलकाता : तकनीक के बदलते जमाने में लोगों की जिंदगी को और ज्यादा आसान व सुविधाजनक बनाने के लिए जहां रोजाना एनराॅयड मोबाइल में एक से बढ़कर एक एप मार्केट में आ रहे हैं. लोगों की सुविधा व सही इस्तेमाल के लिए इनका आविष्कार किया जाता है, लेकिन सही और गलत का एहसास […]
विकास गुप्ता
कोलकाता : तकनीक के बदलते जमाने में लोगों की जिंदगी को और ज्यादा आसान व सुविधाजनक बनाने के लिए जहां रोजाना एनराॅयड मोबाइल में एक से बढ़कर एक एप मार्केट में आ रहे हैं.
लोगों की सुविधा व सही इस्तेमाल के लिए इनका आविष्कार किया जाता है, लेकिन सही और गलत का एहसास ना होने के कारण कुछ लोग ऐसे एप का दुरुपयोग कर जब अपराध के जाल में फंस जाते हैं. तब उन्हें अपने गुनाह का एहसास होता है. हावड़ा के शिवपुर के रहनेवाले नौवी पास व पेशे से वाहन चालक शाहनवाज अहमद (30) ने भी अपने शौक को पूरा करने के लिए तकनीक का कुछ ऐसा ही दुरुपयोग किया था. जिसने उसे सलाखों के पीछे पहुंचा दिया.
क्या है मामला
बांसद्रोनी की रहनेवाली 27 वर्षीया एक शादीशुदा महिला लालबाजार के साइबर थाने में आयी. वह काफी परेशान दिख रही थी, कोई अनजान युवक उसे फोन कर उससे दोस्ती करना चाहता था. मना करने पर कभी अश्लील फोटो व कभी अश्लील मैसेज भेजकर वह उसे इस कदर परेशान कर रहा था कि वह इससे छुटकारा पाने के लिए अंत में उसे पुलिस से मदद मांगनी पड़ी. लालबाजार के साइबर थाने में आकर उसने वह व्हाट्सएेप नंबर को पुलिस को दिया, जिससे उसे परेशान किया जा रहा था.
ह्वाट्सएप का मैसेज देखकर पुलिस को भी आ गया था गुस्सा
पुलिस ने इस मामले की जांच शुरू की. जो युवक महिला को परेशान कर रहा था, उसके मोबाइल नंबर के जरिये पुलिस उसके घर में पहुंची. छापेमारी के समय वह नहीं मिला, लेकिन जब आरोपी को पुलिस के घर में आने का पता चला तो डर के कारण उसने घर आना ही बंद कर दिया. घर नहीं लौटने के कारण पुलिस के साथ अब उसे उसके परिवारवाले भी उसे तलाशना शुरू कर दिये.
एक महीने तक छिपने-भागने के बाद मिला आरोपी
एक महीने तक पुलिस के हाथों से छिपने और बच भागनेवाले आरोपी वाहन चालक शाहनवाज अहमद को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया. उसके पास से उस मोबाइल फोन को भी जब्त कर लिया गया, जिससे वह महिलाओं से संपर्क कर उनसे दोस्ती करने के लिए दबाव देता था.
उसकी बातों को नजरंदाज करनेवाली युवतियों व महिलाओं को वह अश्लील मैसेज व फोटो भेजकर वह ब्लैकमेल करना शुरू कर देता था.
कहां से लाता था लड़कियों का नंबर
पुलिस सूत्र बताते हैं कि उसके मोबाइल फोन को जब्त करने के बाद उसमें सैकड़ों लड़कियों का फोन नंबर पाया गया. इस बारे में उसने बताया कि वह सिर्फ नौवीं कक्षा तक की पढ़ाई किया था.
पेशे से वाहन चालक भी था. इसके कारण उससे कोई भी लड़कियां दोस्ती नहीं करना चाहती थी. एक दिन अपने एक दोस्त को उसने इस बारे में बताया, तो दोस्त ने एनरॉयड मोबाइल में एक एप के बारे में उसे जानकारी दी. इस एप में किसी भी मोबाइल नंबर को उसमें डालने पर उसके बाद अगले एक सौ मोबाइल नंबरों में कौन सा नंबर लड़कियों के नाम पर है, इसकी जानकारी मिल जाती थी. उसी एप की मदद से उसने लड़कियों का नंबर जुगाड़ किया था.
ब्लैकमेल से बाध्य होकर कई लड़कियां कर लेती थीं दोस्ती
गिरफ्तार युवक ने पुलिस को यह भी बताया कि लड़कियों से दोस्ती कर उससे बातें करना उसका शौक था.जो लड़कियां उससे दोस्ती नहीं करना चाहती थी, वह उसे अश्लील मैसेज व फोटो भेजकर उसे ब्लैकमेल व परेशान करता था. जिससे वह दोस्ती के लिए राजी हो जाये. ऐसे कुछ मामलों में एक-दो लड़कियां उसकी बातों में आकर दोस्त बन जाती थी, लेकिन जो मैसेज का जवाब नहीं देती थी, वह उससे परेशान करना शुरू कर देता था. बांसद्रोनी की शिकायतकर्ता भी उसी मे से एक थी. लेकिन वह परेशानी से बचने के लिए पुलिस की मदद लेगी, यह उसने सोचा नहीं था.
इस तरह के मामलों में लालबाजार के वरिष्ठ अधिकारी बताते हैं कि इस तरह के एप्स का गलत इस्तेमाल ना हो, वह इसके लिए एप्स बनाने वाली कंपनी से संपर्क कर उनसे बात करेंगे. जिससे बेवजह निर्दोष लोगों को कोई परेशान ना कर सके.
