40 लाख खर्च के बाद चार गांवों में पेयजल नसीब नहीं

प्रखंड क्षेत्र की डोय पंचायत में लाखों की लागत से लगी सोलर जलमीनार बेकार पड़ी है. सोलर जलमीनार बेकार पड़ने के कारण पंचायत क्षेत्र के ग्रामीणों को पेयजल के लिए परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.

By Prabhat Khabar News Desk | May 10, 2025 7:08 PM

अनदेखी. खराब पड़ी है डोय पंचायत की सोलर जलमीनार, मरम्मत की पहल नहीं तस्वीर-36 डोय में खराब पड़ा सोलर जलमीनार, 37 हरिपुर में खराब पड़ा सोलर जलमीनार प्रतिनिधि, मेहरमा प्रखंड क्षेत्र की डोय पंचायत में लाखों की लागत से लगी सोलर जलमीनार बेकार पड़ी है. सोलर जलमीनार बेकार पड़ने के कारण पंचायत क्षेत्र के ग्रामीणों को पेयजल के लिए परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. बता दें कि पंचायत में चार गांव डोय, कमरगामा, हरिपुर व महुआडीह पड़ता है. इस पंचायत में लगभग साढ़े सात हजार वोटर हैं, जबकि पंचायत की कुल आबादी लगभग 11 हजार के करीब है. पंचायत में मुस्लिम, यादव, मंडल, आदिवासी, हरिजन, तत्वा, केवट, धोबी, नाइ की जाति के लोग हैं. 11 हजार की आबादी वाले पंचायत में 15वीं वित्त से 15 सोलर जलमीनार को लगभग 40 लाख की लागत से लगायी गयी थी. पंचायत में पेयजल की समस्या होने के कारण जब सोलर जलमीनार लगी तो ग्रामीणों काे काफी हद तक पेयजल की समस्या दूर हो गयी थी. पेयजल की समस्या से निजात मिलने से ग्रामीणों में काफी खुशी थी. लोग इस बात से जिला प्रशासन या फिर जनप्रतिनिधि का खूब प्रशंसा करते दिख रहे थे. इस पंचायत की स्थिति यह थी कि फरवरी में ही पेयजल कूप सूख गये हैं. ग्रामीण अपने प्यास बुझाने के लिए दूसरे के पेयजल कूप या फिर दूसरे के घर के बोरिंग के पानी से अपनी प्यास बुझाते थे. मगर 15 सोलर जलमीनार में मात्र तीन जलमीनार ठीक है. बाकी के तेरह जलमीनार कई वर्षों से खराब पड़ी हैं. डिब्बे का पानी खरीद कर ग्रामीण प्यास बुझा रहे हैं. हालांकि पंचायत के मुखिया के द्वारा लगी सोलर जलमीनार को ठीक भी कराया गया. मगर पानी का लेयर कम होने के कारण पुनः खराब पड़ा है. ग्रामीण मो नवाब, मो अफजल, मो सिराज, प्रकाश ठाकुर, रंजन ठाकुर, मनोज मंडल, संजय साह, हेमंत साह, बाबूराम हांसदा, संजय शर्मा, रामू तांती, पप्पू तांती ने वरीय पदाधिकारी व जनप्रतिनिधि से जलमीनार को ठीक कराने की मांग की है. क्या कहते हैं मुखिया पंचायत में लगी जलमीनार को दो तीन बार ठीक करायी गयी है. मगर पानी का लेयर कम होने के कारण कुछ ही दिनों में मोटर जल जाता है. जब तक इन सभी गांव में डीप बोरिंग नहीं हो जाती है. तब तक पेयजल की समस्या से निजात नहीं मिलेगा. – मुसर्रत आरा, मुखिया, डोय

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