आउटसोर्सिंग कर्मचारियों ने मांगों को लेकर दिया धरना
झारखंड राज्य आउटसोर्सिंग कर्मचारी संघ, चतरा की ओर से गुरुवार को समाहरणालय के समक्ष धरना दिया गया.
चतरा. झारखंड राज्य आउटसोर्सिंग कर्मचारी संघ, चतरा की ओर से गुरुवार को समाहरणालय के समक्ष धरना दिया गया. यहां कंप्यूटर ऑपरेटर, अमीन, अनुसेवक व चालकों ने विभिन्न मांगों को लेकर धरना दिया. अध्यक्षता संघ के जिलाध्यक्ष प्रमोद रविदास ने की. कर्मचारियों ने आउटसोर्सिंग मैनुअल-2025 में 12 बिंदुओं को शामिल करने की मांग की. इसमें नियमावली गठन के बाद राज्य के सभी विभागों-कार्यालयों में आउटसोर्स के माध्यम से पूर्व से कार्यरत कर्मियों को यथास्थिति कार्यालय व पद पर पूर्ववत रखने की मांग की गयी. इसके अलावा समान कार्य के बदले समान वेतन, वार्षिक वेतन वृद्धि केंद्र व राज्य सरकार के निर्धारित मानक के अनुरूप या आठ प्रतिशत, अमीन व अन्य तकनीकी कर्मियों को तकनीकी श्रेणी में रखने, राज्य सरकार के कर्मियों के तर्ज पर पितृत्व अवकाश लागू करने, शपथ पत्र समर्पित करने के कंडिका को विलोपित, कर्मियों को 60 वर्ष की आयु तक सेवा सुरक्षित, प्रतिवर्ष कार्य मूल्यांकन के बाद सेवा अवधि विस्तार की बाध्यता को समाप्त करने, दुर्घटना के क्रम में शारीरिक अपंगता होने पर बीमा के रूप में पांच लाख व दुर्घटना में मृत्यु के बाद दस लाख बीमा, स्थानांतरण की प्रक्रिया शिथिल रखने व दस वर्षो से सेवारत आउटसोर्स कर्मियों की सेवा नियमितीकरण का प्रावधान करने की मांग की. जिलाध्यक्ष ने कहा कि अपनी मांगो को लेकर चार दिनों से विरोध किया जा रहा है. तीन दिन तक काला बिल्ला लगाकर विरोध किया. बुधवार की शाम कैंडल मार्च निकाला गया. 15 जून को रांची में महाधरना का आयोजन होगा. धरना में निरंतर कुमार पांडेय, शिशु कुमार, राजू कुमार, आशीष कुमार, रामानुज कुमार, मो. जफरूद्दीन, विजय दांगी, मो इमरान, मुकेश कुमार समेत काफी संख्या में कर्मचारी शामिल थे.
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