Dr. Rajendra Prasad Central Agricultural University: टिकाऊ कृषि, पौधों व पशुओं के उत्पादन व वितरण को एकीकृत दृष्टिकोण : डा राय

डॉ राजेंद्र प्रसाद केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय स्थित संचार केंद्र के पंचतंत्र सभागार में टिकाऊ खेती के लिए फसल विविधीकरण विषय पर पांच दिवसीय प्रशिक्षण की शुरुआत की गई.

By Prabhat Khabar News Desk | February 21, 2025 11:09 PM

पूसा : डॉ राजेंद्र प्रसाद केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय स्थित संचार केंद्र के पंचतंत्र सभागार में टिकाऊ खेती के लिए फसल विविधीकरण विषय पर पांच दिवसीय प्रशिक्षण की शुरुआत की गई. अध्यक्षता करते हुए डीन पीजीसीए सह प्रसार शिक्षा निदेशक डा मयंक राय ने कहा कि टिकाऊ कृषि, पौधों और पशुओं के उत्पादन और वितरण के लिए एक एकीकृत व्यवस्थित दृष्टिकोण है जो पर्यावरण की रक्षा करता है. पृथ्वी के प्राकृतिक संसाधन आधार का विस्तार करता है और गैर-नवीकरणीय संसाधनों का सबसे कुशल उपयोग करता है. फसल विविधीकरण टिकाऊ कृषि का आधार है, जो कृषि उत्पादकता, मृदा स्वास्थ्य और पर्यावरण लचीलापन बढ़ाने वाले कई लाभ प्रदान करता है. इससे पहले नालंदा से आये प्रतिभागियों के बीच आगत अतिथियों ने दीप जलाकर प्रशिक्षण सत्र का शुभारंभ किया गया. शश्य विज्ञान विभाग के प्राध्यापक सह जलवायु परिवर्तन पर उच्च अध्ययन केंद्र के निदेशक डा रत्नेश कुमार झा ने कहा कि जलवायु परिवर्तन की दौर में विभिन्न प्रकार की फसलें उगाकर, किसान अपनी कृषि प्रणालियों को अनुकूलित कर सकते हैं.

जलवायु अनुकूल कृषि को अपने खेती में समाहित कर जोखिम कम कर सकते है

जलवायु अनुकूल कृषि को अपने खेती में समाहित कर जोखिम कम कर सकते है. पारिस्थितिक संतुलन में योगदान दे सकते हैं. विविधीकरण किसी कंपनी के लिए एक तरह की व्यावसायिक रणनीति है. यह नये उत्पादों और नए बाजारों से प्राप्त अधिक से अधिक बिक्री के माध्यम से मुनाफे को बढ़ाना चाहती है. डा रवीश चंद्रा ने कहा कि विविधीकरण या तो व्यावसायिक इकाई के स्तर पर हो सकती है या फिर कॉरपोरेट स्तर पर होता है. फसल विविधता या फसल जैव विविधता कृषि में उपयोग की जाने वाली फसलों, पौधों की विविधता और परिवर्तनशीलता है. इसमें उनकी आनुवंशिक और फेनोटाइपिक विशेषता शामिल हैं. यह कृषि जैव विविधता के एक विशिष्ट तत्व का एक उपसमूह है. संचालन वैज्ञानिक सह प्रसार शिक्षा के समन्वयक प्रशिक्षण डा विनिता सतपथी ने किया. धन्यवाद ज्ञापन वैज्ञानिक डा फूलचंद ने किया. मौके पर प्रतिभागियों सहित टेक्निकल टीम के सुरेश कुमार आदि मौजूद थे.

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