Bihar Tourism: कहीं पुरानी ईंट की दीवारें तो कहीं खूबसूरत नक्काशी, अपनी बिहार यात्रा में इन 5 किलों की जरूर शामिल करें
Bihar Tourism: अगर हम बिहार की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत की बात करें तो यहां के किले भी इसका प्रमाण देते हैं. बिहार में कई सारे ऐसे किले हैं जो पर्यटकों को लुभाते हैं. कुछ अनदेखी जगहों का आनंद लेने के लिए एक बार आपको बिहार का रुख जरूर करना चाहिए.
Bihar Tourism: भारत के रत्न या विरासत की बात होती है तो सबसे पहले दिल्ली के प्रसिद्ध स्मारक या राजस्थान के किले की तस्वीर सामने आती है. पूर्वी भारत की गोद में बसा बिहार भी किसी से कम नहीं है. यहां कई सारे ऐसे किले हैं जो पर्यटकों को लुभाते हैं. कुछ अनदेखी जगहों का आनंद लेने के लिए एक बार आपको बिहार का रुख करना चाहिए.
सांस्कृतिक विरासत का प्रमाण
अगर हम बिहार के समृद्ध सांस्कृतिक विरासत की बात करें तो ये किले भी इसका प्रमाण हैं. मान्यता है कि बिहार में ही ऐतिहासिक रूप से महत्वपूर्ण मौर्य और गुप्त राजवंशों का शासन था. बिहार के बीच से पवित्र गंगा नदी बहती है और विरासत के मामले की बिहार का अपना अलग ही महत्व है. बिहार राज्य शुरू से ही शिक्षा और संस्कृति का मुख्य केंद्र रहा है. चलिए यहां जानते हैं कुछ प्रमुख किलों के बारे में.
1. मुंगेर किला
गंगा के तट पर स्थित यह किला अपने गौरवशाली अतीत को दर्शाता है. यह किला भारत के प्रभावशाली गुलाम वंश के सम्मान और शक्ति के साथ संबंध रखता है. मुंगेर जो कि शासक मुहम्मद बिन तुगलक के अधीन एक महत्वपूर्ण शहर था. इस किले को उनके उत्तराधिकारियों को विरासत में दिया गया था. किले में स्थित दो पहाड़ियां जिसे कर्णचूरा कहा जाता है.
2. रोहतासगढ़ किला
यह किला रोहतास शहर के प्रमुख पर्यटक स्थलों में से एक है. रोहतास का किला समुद्र तल से 1500 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है. इसमें हथिया पोल या हाथी द्वार तक जाने वाली एक चौड़ी और बड़ी चूना पत्थर की सीढ़ियां बनी हुई हैं. प्राचीन काल में हाथियों को लाने के लिए इस तरह के डिजाइन किए जाते थे. इसके द्वार का नाम भी हाथियों के नाम पर ही रखा गया है.
3. शेरगढ़ किला
यह किला वर्तमान में एक खंडहर के रूप में मौजूद है. बावजूद इसके यह किला अब भी पर्यटकों को देखने की स्थिति में हैं. यह किला सासाराम के मल्हीपुर में स्थित है. 800 फीट की ऊंचाई पर स्थित है इस किले पर सम्राट शेरशाह सूरी का नियंत्रण था. इस किले के गौरव की जानकारी 16वीं शताब्दी से लगाई जा सकती है. उस वक्त इसे भुरकुड़ा किला के नाम से जाना जाता था. इसकी दीवारों पर की गई नक्काशी किले के गौरवशाली अतीत को दर्शाती है.
4. विशाल किला
यह किला बसाढ़ में स्थित है. मगध के गौरव को दर्शाने वाली इस किले का विश्व भर के इतिहासकार सम्मान करते हैं. राजनीतिक चर्चाओं के लिए इस किले का महत्वपूर्ण स्थान था. ऐसी मान्यता है कि करीब 7000 प्रतिनिधि यहां चर्चा के लिए आते थे. इस किले की मोटी दीवारें प्राचीन भारतीय वास्तुकला की खूबसूरती को दर्शाती है. इसका विशाल आकार भय और आकर्षण दोनों से भरा है.
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5. दरभंगा किला
बिहार के सबसे अधिक देखे जाने वाले स्थलों में से एक है दरभंगा का किला. मानसर कॉलोनी में स्थित यह किला दरभंगा क्षेत्र के प्रमुख आकर्षणों में से एक है. राम बाग पैलेस परिसर में स्थित होने की वजह से स्थानीय लोग इसे राम बाग किला भी कहते हैं. इस किले का निर्माण 1934 में महाराजा कामेश्वर सिंह ने करवाया था.
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