Madhubani News : ऑक्सीजन प्लांट लगने के बाद भी जंबो सिलेंडर पर खर्च की जा रही रकम
. सदर अस्पताल स्थित ऑक्सीजन प्लांट कर्मियों के अभाव का दंश झेल रहा है. इस कारण ऑक्सीजन जेनरेशन प्लांट बंद है.
मधुबनी. सदर अस्पताल स्थित ऑक्सीजन प्लांट कर्मियों के अभाव का दंश झेल रहा है. इस कारण ऑक्सीजन जेनरेशन प्लांट बंद है. हालात यह है कि सदर अस्पताल में 1000 एलपीए ऑक्सीजन प्लांट के अधिष्ठापित होने के बाद भी सदर अस्पताल में भर्ती मरीजों के लिए प्रतिमाह लगभग 250 जंबो सिलेंडर की खपत हो रही है. इसके लिए सदर अस्पताल की ओर से प्रतिमाह लगभग 60-65 हजार रुपये का भुगतान सिलेंडर आपूर्ति करने वाली एजेंसी को किया जा रहा है. सरकार की ओर से महज एक आइटीआइ प्रशिक्षित टेक्नीशियन को तैनात किया गया था. इसके द्वारा एक शिफ्ट में प्लांट से ऑक्सीजन की आपूर्ति की जाती थी. मार्च में इडी की ओर से संबंधित टेक्नीशियन की सेवा भी समाप्त कर दी गयी. इस कारण ऑक्सीजन जेनरेशन प्लांट से आपूर्ति ठप है. यह केवल मुख्यालय की दुर्दशा नहीं है, तीनों अनुमंडलीय अस्पतालों व अररिया संग्राम स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र सह ट्राॅमा सेंटर में स्थापित ऑक्सीजन प्लांट का भी यही हाल है. कोरोना की दूसरी लहर में ऑक्सीजन की समस्या उत्पन्न होने के बाद सदर अस्पताल, सहित अनुमंडलीय अस्पताल एवं अररिया संग्राम स्थित ट्राॅमा सेंटर में ऑक्सीजन प्लांट स्थापित की गयी थी. जिसमें सदर अस्पताल में 1000 एलपीएम, अनुमंडलीय अस्पताल जयनगर में 500 एलपीएम ऑक्सीजन प्लांट पीएम केयर्स फंड की ओर से अधिष्ठापित किया गया, जबकि अनुमंडलीय अस्पताल फुलपरास में डॉक्टर फॉर यू द्वारा 500 एलपीएम, अनुमंडलीय अस्पताल झंझारपुर में मिथिला दुग्ध सहकारी समिति की ओर से 400 एलपीएम तथा अररिया संग्राम स्थित ट्राॅमा सेंटर में मेघा इंटरप्राइजेज की ओर से 300 एलपीएम क्षमता वाले ऑक्सीजन प्लांट का अधिष्ठापन किया गया था. वर्तमान में सदर अस्पताल में जंबो सिलेंडर के मद में प्रतिमाह हजारों रुपए का भुगतान संबंधित एजेंसी को किया जा रहा है. सदर अस्पताल के एसएनसीयू, इमरजेंसी, चाइल्ड वार्ड, महिला वार्ड, पुरुष वार्ड एवं कैदी वार्ड में लगाए गए ऑक्सीजन पाइप से 24 घंटे ऑक्सीजन की सप्लाई नही हो रहा है. अस्पताल में वर्तमान में प्रतिमा 250 जंबो सिलेंडर की खपत हो रही है. जिसकी आपूर्ति मेधा इंटरप्राइजेज ट्रेडर्स, दरभंगा की ओर से की जा रही है. स्वास्थ्य विभाग सभी ऑक्सीजन प्लांट को क्रियाशील करने का निर्देश दिया है. ऑक्सीजन पीएसए प्लांट के लिए 250 केवीए का ट्रांसफार्मर जेनरेटर सेट अधिष्ठापित किया गया, लेकिन इंधन की आपूर्ति नहीं हो रही. इस संबंध में कार्यपालक निदेशक सुहर्ष भगत ने उर्मिला इंटरनेशनल प्राइवेट लिमिटेड को आउटसोर्स के आधार पर प्रतिनियुक्ति आइटीआइ टेक्नीशियन की प्रतिनियोजन अवधि समाप्त करने का निर्देश दिया है. इडी की ओर से जारी पत्र में कहा गया है, कि बीएमएसआइसीएल की ओर से ऑक्सीजन प्लांट के ऑपरेशन, मेंटेनेंस एवं ट्रबुल सुटिंग के लिए एजेंसी का चयन कर लिया गया है. इसके बाद संबंधित एजेंसी की ओर से टेक्नीशियन की प्रतिनियुक्ति की जाएगी
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है
