चार दिन पहले पिता की हो गयी थी मौत, लेकिन सचिन ने आते ही ठोंक दिया था शतक, विजडन इंडिया ने शेयर किया वीडियो

23 मई 1999 यानी ही आज के दिन सचिन का केन्या के विरुद्ध लगाया गया शतक कई मायनों में न सिर्फ उनके के लिए बल्कि पूरे देश के लिए काफी मायने रखेगा.

By Sameer Oraon | May 23, 2020 2:17 PM

यूं तो क्रिकेट के भगवान सचिन तेंदुलकर के नाम कई रिकॉर्ड और शतक हैं. लेकिन 23 मई 1999 यानी आज के दिन केन्या के विरुद्ध लगाया गया उनका शतक कई मायनों में न सिर्फ सचिन के लिए बल्कि पूरे देश के लिए काफी मायने रखेगा. ये उस वक्त वक्त की बात है जब 1999 विश्व कप की शुरूआत हुई थी और भारत ने अपना पहला मुकाबला दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ गंवा दिया था.

अगला मुकाबला जिम्बाब्वे के साथ था. लेकिन भारत को उससे पहले एक बुरी खबर मिली. सचिन के पिता का जिम्बाब्वे के खिलाफ मैच से पहले निधन हो गया. सचिन को वह मैच छोड़कर अपने पिता के अंतिम संस्कार में जाना पड़ा. सचिन की कमी मैच में साफ खली और भारत वो मैच 3 रन से हार गया. भारत के सामने अपने अगले मैच को बचाने की चुनौती आ गयी थी. क्योंकि उनके सामने विश्व कप से बाहर होने की नौबत आ गयी थी. जिम्बाब्वे से मैच होने के ठीक 4 दिन बाद ही केन्या के खिलाफ अगला मुकाबला था.

सचिन अपने पिता के अंतिम संस्कार में भाग लेकर केन्या के खिलाफ मैच खेलने पहुंच गए. सब लोग उनके पहुंचने पर हैरान थे. लेकिन सचिन उस दिन तो मानों अलग ही मूड में आए थे. भारत उस मैच में पहले बल्लेबाजी कर रहा था. सचिन ने ब्रिस्टल के उस काउंटी ग्राउंड पर 101 गेंदों पर नाबाद 140 रन ठोंक दिए. जिसके बदौलत भारत ने 2 विकेट के नुकसान पर 329 रन बनाए. उनकी इस खूबसूरत पारी को विजडन इंडिया ने भी अपने ट्विटर अकाउंट पर शेयर किया है.

उन्होंने लिखा है आज ही के दिन 1999 में सचिन तेंदुलकर जो अपने पिता के निधन के बाद भारतीय टीम में शामिल हुए थे, उन्होंने केन्या के खिलाफ विश्व कप के उस मैच में 101 गेंदों पर नाबाद 140 रन बनाए थे. बहरहाल हम आते हैं केन्या के खिलाफ उस मैच पर. जवाबी पारी खेलने उतरी केन्या की टीम 7 विकेट के नुकसान पर 235 रन ही बना सकी.

Also Read: इतिहास के पन्नों से : आज ही के दिन पहली बार वनडे क्रिकेट में बना था सबसे बड़ा व्यक्तिगत स्कोर

भारत वो मैच 94 रन से जीत गया. सचिन की उस शानदार पारी के लिए मैन ऑफ द मैच चुना गया. सचिन ने जैसे ही वो शतक पूरा किया उनकी आंखों में आंसू थे. उन्होंने भावुक मन से अपने बल्ले को आसमान की तरफ उठाया और अपने पिता को याद किया. बता दें कि भारत ने इंग्लैंड-वेल्स में खेले गए उस वर्ल्ड कप के सुपर सिक्स में जगह बनाई, हालांकि इसके बाद भारतीय टीम पिछड़ गई.

Next Article

Exit mobile version