Kali Puja Samagri List: इस दिन है काली पूजा, जल्दी नोट कर लें पूजा की सभी सामग्री
Kali Puja Samagri List: काली पूजा माता काली को समर्पित एक खास पर्व है. इस दिन रात के समय भक्त माता काली की पूजा-अर्चना करते हैं. इस पूजा को करने के लिए कुछ विशेष सामग्रियों की आवश्यकता होती है. यहां देखें काली पूजा में लगने वाली सामग्री की सूची.
Kali Puja Samagri List: काली पूजा मुख्य रूप से पश्चिम बंगाल, उड़ीसा और असम में मनाया जाने वाला एक बेहद महत्वपूर्ण त्योहार है. इस पर्व को कार्तिक मास की अमावस्या तिथि को दीवाली के साथ मनाया जाता है. इस दिन माता काली की आराधना की जाती है.हिंदू धर्म में माता काली को शक्ति, ऊर्जा और साहस का प्रतीक माना जाता है. माता की उपासना से भय का नाश होता है और शक्ति का आशीर्वाद प्राप्त होता है. चलिए जानते हैं कि माता काली को समर्पित इस पूजा में किन-किन चीजों की आवश्यकता होती है.
काली पूजा सामग्री
- माता काली की प्रतिमा या तस्वीर
- लाल कपड़ा (आसन के लिए)
- पूजन थाली
- दीपक
- घी
- बाती
- धूप
- अगरबत्ती
- कपूर
- गंगाजल
- अक्षत (चावल)
- रोली
- श्रृंगार का सामान — माता काली को अर्पित करने के लिए
- फूल
- फल
- कलश
- नारियल (कलश पर रखने के लिए)
- आम के पत्ते
- बेलपत्र (यदि उपलब्ध हो)
- पान के पत्ते
काली पूजा का शुभ मुहूर्त क्या है?
काली पूजा इस साल 20 अक्टूबर 2025 को मनाई जाएगी. इस दिन पूजा का शुभ मुहूर्त रात 11 बजकर 55 मिनट पर शुरू होगा और 21 अक्टूबर की मध्यरात्रि 12 बजकर 44 मिनट तक रहेगा.
काली पूजा विधि कैसे करें?
काली पूजा के दिन सुबह जल्दी उठकर स्नान करें और स्वच्छ वस्त्र पहनें.इसके बाद भगवान गणेश का आवाहन करें, क्योंकि किसी भी शुभ कार्य की शुरुआत उनसे की जाती है. एक चौकी पर लाल कपड़ा बिछाकर माता काली की प्रतिमा या तस्वीर स्थापित करें.माता को हल्दी, कुमकुम, सिंदूर, फूल, फल, और लाल चुनरी अर्पित करें. इसके बाद माता को भोग लगाएं. दीपक जलाकर माता के चरणों के पास रखें और धूप-अगरबत्ती जलाएं. माता काली के मंत्रों का जाप करें. अंत में माता काली की आरती कर पूजा सम्पन्न करें.
Disclaimer: यहां दी गई जानकारी केवल मान्यताओं और परंपरागत जानकारियों पर आधारित है. प्रभात खबर किसी भी तरह की मान्यता या जानकारी की पुष्टि नहीं करता है.
