”प्रेमक बसात” में अभिनय कर रहे हैं मधेपुरा के जीतू, सपरिवार पहुंच रहे दर्शक

आज के दौर में जब बिहार के सिनेमाई बाजार पर भाया भोजपुरी फिल्म फूहड़ता का कब्जा हो गया है. ऐसे में क्षेत्रीय भाषा में सार्थक फिल्मों की उम्मीद नहीं की जा सकती, पर इस मिथक को तोड़ने का काम किया है मैथिली फिल्म ‘प्रेमक बसात’ ने. विगत 2 नवंबर को भारत और नेपाल के मिथिला […]

By Prabhat Khabar Print Desk | November 5, 2018 12:15 PM

आज के दौर में जब बिहार के सिनेमाई बाजार पर भाया भोजपुरी फिल्म फूहड़ता का कब्जा हो गया है. ऐसे में क्षेत्रीय भाषा में सार्थक फिल्मों की उम्मीद नहीं की जा सकती, पर इस मिथक को तोड़ने का काम किया है मैथिली फिल्म ‘प्रेमक बसात’ ने. विगत 2 नवंबर को भारत और नेपाल के मिथिला क्षेत्र में प्रदर्शित यह फिल्म सामाजिक मुद्दों और हिंदू मुस्लिम प्रेमकथा पर आधारित है. जिले के बिहारीगंज स्थित राधिका टाकिज में लोग उत्साह के साथ मातृभाषा मैथिली में प्रदर्शित इस फिल्म का लुत्फ उठा रहे हैं.

फिल्म देखकर निकले मोहनपुर के अरुण यादव ने कहा कि अपना बोल में फिलिम देख के मजा आइब गेलअ, तो परड़िया के संजीव ठाकुर ने कहा कि बहुत साफ सुथरा फिल्म छै, काइल परिवार के लए के एबै देखाबअ.

मुरलीगंज से फिल्म देखने पहुंचे नरेश कुमार ने कहा कि एहने फिल्म के जरूरत छै समाज लेल. हिंदू मुस्लिम प्रेमकथा पर हिन्दी में कई फिल्में बनी है और विवाद के केन्द्र में भी रही है. गदर: एक प्रेमकथा की गरमाहट आज भी दर्शकों को याद है. पर प्रेमक बसात में मिथिला क्षेत्र के ताना बाना में पटकथा तैयार की गयी है और विवाद की संभावना कम दिखती है.

मैथिली में सूफी गीत दरस देखा दिअ मौला….अप्पन बना लिअ मौला सुन कर दर्शक मुख्तार आलम कहते हैं कि आइ सच्चे लागलअ जे हमरा सभक भाषा तडऽ यैह छियै हौ, जल्दी मधेपुरा ल चलहू सनिमा के.

फिल्म में मधेपुरा के जीतू की दमदार मौजूदगी

लेखक निर्देशक रूपक शरर की इस फिल्म का निर्माण किया है वेदान्त झा ने, तो कार्यकारी निर्माता हैं बॉलीवुड के प्रसिद्ध प्रोडक्शन कंट्रोलर कुणाल ठाकुर. फिल्म के गीतों को प्रवेश मल्लिक और सरोज सुमन के संगीत में आदित्य नारायण, श्रावणी, तोची रैना आदि ने गाकर कर्णप्रिय बना दिया है. मधेपुरा के लोगों के लिए आकर्षण इस फिल्म की सशक्त भूमिका में जिलावासी कलाकार जीतू सम्राट की दमदार उपस्थिति है.
दिल्ली के मैलोरंग से प्रशिक्षित जीतू संप्रति मुंबई में संघर्षरत हैं.

फिल्म के प्रोमोशन में पहुंचे कार्यकारी निर्माता कुणाल ठाकुर ने कहा कि दर्शकों का रिस्पांस अच्छा रहा तो निरंतर मैथिली में ऐसे फिल्मों का निर्माण व प्रदर्शन जारी रहेगा. इसी क्रम में फिल्मकर्मी किसलय कृष्ण ने बिहारीगंज में फिल्म के प्रदर्शन को मैथिली भाषा के लिए सुखद क्षण बताया और उपस्थित दर्शकों से कहा कि हम्मे आर जे बोलै छियै वएह असली मैथिली छियै. बहरहाल राधिका टॉकिज से निकल रहे युवा दर्शकों की जुबान पर एक ही गीत है… नयन अटकल अहींक नयन में…

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