पश्चिम बंगाल में भाजपा की सरकार बनी, तो जारी होगी ओएमआर शीट : अग्निमित्रा पाल

अग्निमित्रा सोमवार को कांकसा थाना क्षेत्र में दुष्कर्म की घटना के बाद मीडिया से मुखातिब थीं.

By GANESH MAHTO | April 8, 2025 12:09 AM

पानागढ़. सोमवार को आसनसोल दक्षिण की विधायक अग्निमित्रा पाल ने जोर देते हुए कहा कि राज्य की सत्ता में भाजपा आयी, तो नियुक्त होनेवाले सरकारी शिक्षकों की ओएमआर शीट प्रकाशित की जायेगी. किसी तरह की लुकाछिपी नहीं रहेगी. पूरी तरह से पारदर्शिता बरती जायेगी. अग्निमित्रा सोमवार को कांकसा थाना क्षेत्र में दुष्कर्म की घटना के बाद मीडिया से मुखातिब थीं. उन्होंने कहा कि वर्ष 2024 में कोलकाता के आरजी कर अस्पताल की घटना के बाद चिकित्सकों के आंदोलन को मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने गोल-मोल बातें कर दबाने की भरसक कोशिश की. इसका हिसाब राज्य की जनता वर्ष 2026 के विधानसभा चुनाव में पूरी तरह से कर देगी. राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर निशाना साधते हुए भाजपा विधायक अग्निमित्रा पाल ने जमकर विक्षोभ जताया. मालूम रहे कि सुप्रीम कोर्ट ने वर्ष 2016 के शिक्षक भर्ती पैनल को ही कैंसेल कर दिया. जिसके कारण करीब 26 हजार शिक्षक शिक्षकों की नौकरी चली गयी. इसे लेकर सोमवार को सीएम के बुलावे पर कोलकाता नेताजी इनडोर स्टेडियम में पीड़ित शिक्षक शिक्षिकाएं पहुंचे हुए थे. यहां भी शिक्षक शिक्षिकाओं ने राज्य की मुख्यमंत्री के खिलाफ जमकर विक्षोभ जताया. अग्निमित्रा के मुताबिक कोलकाता के आरजी कर अस्पताल की घटना के बाद चिकित्सकों के आंदोलन को लेकर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और राज्य पुलिस का रवैया ना सिर्फ ढुलमुल रहा, बल्कि तथ्यों को छिपानेवाला रहा. चिकित्सकों के आंदोलन को गोल-गोल घुमाकर उनके आंदोलन को समाप्त करवा दिया.उसी तरह, अब राज्य के शिक्षकों के आंदोलन को गोल गोल घुमाने की कोशिश कर रही है.मुख्यमंत्री पीड़ित शिक्षकों को गुमराह कर रही हैं. क्योंकि एसएससी के चेयरमैन ने यह स्पष्ट कर दिया है कि मैं योग्य और अयोग्य शिक्षकों की सूची को अलग नहीं कर सकता. अप्रैल 2024 में, कोलकाता उच्च न्यायालय के एकल बेंच ने निर्देश दिया था. उसके बाद भी शिक्षा विभाग योग्य और अयोग्य शिक्षकों की . ओएमआर शीट नहीं दे पाई. अब सुप्रीम कोर्ट का आदेश आ गया और सभी शिक्षकों को अयोग्य घोषित कर दिया गया. अग्निमित्रा पाल ने कहा कि मुख्यमंत्री का कहना है कि शिक्षकों को अब तक उठाए गए वेतन को वापस नहीं करना है. लेकिन सुप्रीम कोर्ट के अनुच्छेद 46 में यह साफ स्पष्ट है कि अयोग्य शिक्षकों द्वारा उठाए गए कुल पेमेंट के साथ कुल 12 प्रतिशत की दर से ब्याज के साथ पैसा वापस करना होगा. अग्निमित्रा पाल ने कहा कि मुख्यमंत्री झूठ बोल रही हैं.अग्निमित्रा पाल ने यह भी कहा कि बंगाल के लोगों का इस झूठी सरकार से विश्वास उठ गया है. अगले वर्ष होनेवाले विधानसभा चुनाव में इस सरकार को राज्य की जनता उखाड़ फेंकेगी.

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