झारखंड की पंचायती राज व्यवस्था है कितनी मजबूत, क्या है स्कोर? पंचायती राज मंत्रालय ने जारी की रिपोर्ट

Jharkhand Panchayati Raj: पंचायती राज मंत्रालय ने देश में पंचायती राज व्यवस्था की स्थिति पर रिपोर्ट जारी की है. इसके अनुसार झारखंड में पंचायती राज व्यवस्था मजबूत है, लेकिन क्रियान्वयन कमजोर है.

By Guru Swarup Mishra | February 17, 2025 7:45 AM

Jharkhand Panchayati Raj: रांची, मनोज सिंह-भारत सरकार ने देश में पंचायती राज व्यवस्था की स्थिति पर रिपोर्ट जारी की है. इस रिपोर्ट के अनुसार झारखंड में पंचायती राज व्यवस्था (फ्रेमवर्क) मजबूत बतायी गयी है, लेकिन इसका क्रियान्वयन कमजोर है. झारखंड के पंचायतों की आधारभूत संरचना को अच्छा माना गया है. यहां उपलब्ध संसाधन को करीब 44 फीसदी स्कोर मिला है. ई-कनेक्टिविटी को 25 फीसदी स्कोर दिया गया है. वहीं, उपलब्ध मैनपावर में शून्य स्कोर दिया गया है. क्षमता वर्द्धन (कैपिसिटी बिल्डिंग) के मामले में झारखंड की स्थिति बहुत ही अच्छी मानी गयी है. इसके लिए उपलब्ध प्रशिक्षण संस्थान को अच्छा माना गया है. इस पर 75 फीसदी स्कोर दिया गया है. लेकिन, ट्रेनिंग गतिविधि को अच्छा नहीं माना गया है. चुने हुए पंचायती राज प्रतिनिधियों को प्रशिक्षण देने के मामले में 7.4 फीसदी अंक मिला है.

झारखंड को कुल 27.7 फीसदी स्कोर


भारत सरकार के पंचायती राज मंत्रालय की रिपोर्ट के अनुसार सभी मामलों को मिलाकर झारखंड को कुल 27.7 फीसदी स्कोर दिया गया है. इसमें सबसे अधिक करीब 66.2 फीसदी स्कोर यहां के पंचायती राज व्यवस्था के फ्रेमवर्क को मिला है. यहां पंचायती राज व्यवस्था को लिए सरकार ने जो रूपरेखा या व्यवस्था की है, उसको मजबूत माना गया है. लेकिन, पंचायती राज व्यवस्था के संचालन के मामले में तय अन्य इंडिकेटर में राज्य काफी पीछे है.

झारखंड की पंचायत के फंक्शन को 22.3 फीसदी स्कोर


मंत्रालय के 2024 तक कराये गये सर्वे रिपोर्ट में झारखंड की पंचायत के फंक्शन (कार्य प्रणाली) को 22.3 फीसदी स्कोर दिया गया है. वहीं, इसमें सबसे अधिक स्कोर 60.2 फीसदी तमिलनाडु को मिला है. इस पारामीटर में पंचायत को मिलने वाले काम और पंचायती व्यवस्था की सहभागिता को शामिल किया गया था. इसमें झारखंड की स्थिति अच्छी नहीं पायी गयी है. इसके अतिरिक्त झारखंड में स्कीम में पंचायतों की सहभागिता को करीब 41 फीसदी स्कोर दिया गया है. पंचायतों को दिये जाने वाले वित्तीय अधिकार के मामले में सबसे अच्छा कर्नाटक को माना गया है. कर्नाटक को इस मामले में 70 फीसदी अंक दिया गया है. वहीं, झारखंड को 14.3 फीसदी अंक मिला है. वित्तीय अधिकार वाले पारा मीटर में केंद्र सरकार के वित्त आयोग से मिलने वाली राशि, राज्य वित्त आयोग की स्थिति और राज्य वित्त आयोग से पंचायतों को भेजी जानी वाली राशि को शामिल किया गया है. इसमें केवल राज्य वित्त आयोग के गठन को अच्छा माना गया है. यहां पंचायतों से आने वाले राजस्व को शून्य, पंचायत में उपलब्ध राशि में शून्य, पंचायतों से होने वाले खर्च को भी शून्य फीसदी स्कोर दिया गया है.

एकाउंटिबिलिटी में 16.5 फीसदी स्कोर


पंचायती राज मंत्रालय ने झारखंड में पंचायती राज व्यवस्था को जवाबदेही (एकाउंटिबिलिटी) के मामले में 16.5 फीसदी स्कोर मिला है. इसमें सबसे अच्छी स्थिति कर्नाटक की बतायी गयी है. इसमें कर्नाटक को 81 फीसदी स्कोर मिला है. यहां पंचायती राज व्यवस्था के सोशल ऑडिट को मात्र सात फीसदी अंक मिला है. ग्राम सभा को 25 फीसदी का स्कोर दिया गया है. पारदर्शिता और भ्रष्टाचार में भी मात्र चार फीसदी ही स्कोर मिला है. पंचायतों में होने वाले इंसेंटिव को भी बहुत प्रभावी नहीं माना गया है.

क्या स्कोर मिला है झारखंड को?


आयाम- स्कोर (100 में)
फ्रेमवर्क-66.2
फंक्शन – 23.2
वित्त-14.3
एकाउंटिबिलिटी-16.5
कैपिसिटी बिल्डिंग-24.7
पदाधिकारी – 24.8

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