Ranchi news : ट्रैफिक व्यवस्था पर हाइकोर्ट नाराज, पूछा : आदेश का अनुपालन क्यों नहीं हुआ
हाइकोर्ट ने हजारीबाग नगर निगम एवं जिला प्रशासन से मांगा जवाब
हाइकोर्ट ने हजारीबाग नगर निगम एवं जिला प्रशासन से मांगा जवाब
रांची. झारखंड हाइकोर्ट ने हजारीबाग शहर में ट्रैफिक व्यवस्था में सुधार को लेकर दायर जनहित याचिका पर सुनवाई की. चीफ जस्टिस तरलोक सिंह चौहान व जस्टिस राजेश शंकर की खंडपीठ ने सुनवाई के दौरान प्रार्थी व प्रतिवादियों का पक्ष सुना. पक्ष सुनने के बाद खंडपीठ ने नाराजगी जताते हुए कहा कि अब तक पूर्व में दिये गये आदेश का अनुपालन क्यों नहीं किया गया है. खंडपीठ ने हजारीबाग नगर निगम को स्वचालित ट्रैफिक लाइट मॉनिटरिंग सिस्टम के बजट की समीक्षा कर इसका उचित बजट निर्धारित कर कोर्ट को अवगत कराने का निर्देश दिया. साथ ही जिला प्रशासन व हजारीबाग नगर निगम को जवाब दायर करने का निर्देश दिया. मामले की अगली सुनवाई के लिए खंडपीठ ने 27 नवंबर की तिथि निर्धारित की. इससे पहले सुनवाई के दौरान प्रार्थी अच्यूत स्वरूप मिश्रा की ओर से खंडपीठ को बताया गया कि कोर्ट के 28 अगस्त 2025 के आदेश का हजारीबाग जिला प्रशासन व नगर निगम ने अनुपालन नहीं किया है. हजारीबाग शहर की सड़कों पर अतिक्रमण, ट्रैफिक पोस्ट की कमी, सीसीटीवी का चालू हालत में नहीं होना आदि समस्याएं जस की तस बनी हुई है. ट्रैफिक व्यवस्था भी दुरूस्त नहीं हो पा रही है. हजारीबाग में स्वचालित ट्रैफिक लाइट मॉनिटरिंग सिस्टम के लिए लगभग 39.96 करोड का बजट बनाया गया है, बहुत अधिक है. हजारीबाग शहर के 25 चाैक-चौराहों में से सिर्फ एक जगह ट्रैफिक लाइट लगा कर सिर्फ आइवास किया जा रहा है. ट्रैफिक व्यवस्था में लगे पुलिसकर्मी भी प्रशिक्षित नहीं है. बिना हेलमेट वाले वाहन चालक अथवा ट्रैफिक नियम तोड़नेवालों पर कोई कार्रवाई भी नहीं करते हैं. सात अक्टूबर के आदेश में कोर्ट ने कहा था कि आदेश का अनुपालन नहीं होने पर अवमानना की कार्रवाई की जा सकती है. उल्लेखनीय है कि प्रार्थी अच्यूत स्वरूप मिश्रा ने जनहित याचिका दायर की है. इसमें कहा गया है कि हजारीबाग में ट्रैफिक लाइट की व्यवस्था नहीं है. सड़कों पर छोटे-छोटे दुकान लगते हैं. पार्किंग की समुचित व्यवस्था नहीं होने के कारण लगभग सभी चौक-चौराहों पर जाम की स्थिति बनी रहती है.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है
