झारखंड : डाॅक्टरों की हड़ताल से ओपीडी सेवाएं पूरी तरह ठप, मरीज बेहाल

इंडियन मेडिकल एसोसिएशन, झारखंड (अाइएमए) एवं झारखंड राज्य चिकित्सा सेवा संघ (झासा) के अाह्वान पर बुधवार से राज्य भर के सरकारी डॉक्टरों की तीन दिवसीय हड़ताल शुरू हो गयी. ये लोग ‘मेडिकल प्रोटेक्शन एक्ट’ लागू करने की मांग कर रहे हैं. हड़ताल से राजधानी रांची सहित राज्य के सभी सरकारी अस्पतालों की ओपीडी सेवाएं पूरी […]

By Prabhat Khabar Print Desk | September 29, 2016 1:51 AM
इंडियन मेडिकल एसोसिएशन, झारखंड (अाइएमए) एवं झारखंड राज्य चिकित्सा सेवा संघ (झासा) के अाह्वान पर बुधवार से राज्य भर के सरकारी डॉक्टरों की तीन दिवसीय हड़ताल शुरू हो गयी. ये लोग ‘मेडिकल प्रोटेक्शन एक्ट’ लागू करने की मांग कर रहे हैं. हड़ताल से राजधानी रांची सहित राज्य के सभी सरकारी अस्पतालों की ओपीडी सेवाएं पूरी तरह ठप हो गयीं. डॉक्टर अस्पताल आये, लेकिन मरीजों को परामर्श नहीं दिया. ऐसे में दूर-दराज के ग्रामीण क्षेत्रों से आये मरीजों को सबसे ज्यादा परेशानी हुई.
रांची : राजधानी के सदर अस्पताल, डोरंडा औषधालय एवं प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों पर चिकित्सीय परामर्श के लिए मरीजों की भीड़ रही. जिन मरीजों ने अखबारों में हड़ताल की खबर नहीं पढ़ी, वे सुबह ही अस्पताल पहुंच आये थे. यहां उन्हें ओपीडी तो खुला मिला, लेकिन उसमें डॉक्टर नहीं दिखे. अस्पताल कर्मचारियों ने बतायाकि तीन दिनों तक डॉक्टर साहब नहीं बैठेंगे. इसके बावजूद मरीजों ने काफी देर तक इंतजार किया, उसके बाद लौट गये.
इमरजेंसी के चिकित्सकों ने भी मरीजों को लौटाया
कुत्ते के काटने पर दीपाटोली निवासी संजय अग्रवाल रांची के सदर अस्पताल में एंटी रेबीज सूई लेने आये थे. यहां इमरजेेंसी में चिकित्सकों ने कहा कि पहले ओपीडी के पुरजे पर सूई लेने का परामर्श लेकर आओ, तब सुई दी जायेगी. ओपीडी में आने पर उन्हें कोई चिकित्सक नहीं मिला. अंत में संजय को सुई के लिए निजी अस्पताल जाना पड़ा.
कल और बढ़ेगी परेशानी
चिकित्सकों के हड़ताल का सबसे ज्यादा असर शुक्रवार को होगा, जब सरकारी चिकित्सकों के अलावा निजी अस्पताल व क्लिनिक की ओपीडी बंद रहेगी. अस्पतालों में सिर्फ इमरजेंसी सेवाएं दी जायेंगी. ऐसे में मरीजों को अगले दिन का इंतजार करना पड़ेगा.

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