रोरिया जंगल में लगी आग को ग्रामीणों ने बुझाया

दिनभर की मशक्कत, करीब चार किमी तक आग बुझाने में मिली सफलता

By Prabhat Khabar | April 18, 2024 11:55 PM

कसमार. जरीडीह प्रखंड स्थित भस्की पंचायत के रोरिया जंगल में लगी आग को दर्जनों ग्रामीणों ने गुरुवार को कड़ी मशक्कत के बाद बुझाने में सफलता पायी. सोमवार की शाम को बंगाल के जंगलों से होकर आग की लपटें भस्की के जंगल में पहुंची थी. आग तेजी से फैलती हुई रोरिया के जंगल तक पहुंच गयी. स्थानीय ग्रामीणों ने इसकी सूचना विभागीय कर्मियों को देकर आग बुझाने में सहयोग की मांग की. ग्रामीणों के अनुसार, विभाग ने इसमें कोई विशेष दिलचस्पी नहीं ली. इसके बाद ग्रामीणों ने अपने स्तर से आग बुझाने की ठानी. ग्रामीणों ने बताया कि रोरिया में लगभग 556 हेक्टेयर में जंगल है. आग की लपटें काफी तेजी से जंगल में फैल रही थी. 50 हेक्टेयर से अधिक को आग अपनी चपेट में ले चुकी थी. कोई उपाय न होता देख गुरुवार को दर्जनों ग्रामीण आग की लपटों के बीच जंगल में घुसे. दिनभर कड़ी मशक्कत के बाद रोरिया के उरूमसुकुम से लेकर कड़ियर (पश्चिम बंगाल) की तीनसीमाना लगभग चार किमी तक लगी आग को बुझाने में ग्रामीण सफल हुए. ग्रामीणों ने कहा : भूखे-प्यासे रहकर ग्रामीणों ने आग बुझाने का काम किया. कहा कि आग्रह करने के बावजूद विभाग ने सत्तू-गुड़ तक उपलब्ध नहीं कराया.

ये थे शामिल

आग बुझाने वाले ग्रामीणों तथा वन सुरक्षा समिति के सदस्यों में अर्जुन महतो, नंदलाल महतो, मनोज कुमार महतो, रथुराम महतो, काशीनाथ महतो, नेहरू महतो, सुकु महतो, तुलसीदास महतो, तेजू मुंडा, धीरेंद्र नाथ महतो, नागेश्वर महत, सुधीर महतो, संजय महतो, शंभू मुंडा, संतोष महतो, रंजीत महतो समेत दर्जनों ग्रामीण शामिल थे.

आग बुझाओ दल बनाने की उठायी मांग

वन सुरक्षा समिति, रोरिया के रथूराम महतो, काशीनाथ महतो, अर्जुन महतो आदि सदस्यों व ग्रामीणों ने हाथी भगाओ दल की तरह आज को बुझाने के लिए विभाग के स्तर पर आग बुझाओ दल बनाने की मांग बोकारो डीएफओ से की है. श्री महतो ने कि इस क्षेत्र में हाथियों के उत्पात की समस्या को देखते हुए विभाग ने हाथी भगाओ दल बनाया है, जो गांवों में हाथियों के प्रवेश होने पर उसे भगाता है. उसी तर्ज पर जंगल में लगी आग को बुझाने के लिए विभाग के स्तर पर अलग-अलग गांवों में आग बुझाओ दाल बनाने की जरूरत है, ताकि किसी जंगल में आग लगते ही उसे पर काबू पाया जा सके. श्री महतो ने हाथी भगाओ दल में सदस्यों की संख्या बढ़ाने की भी मांग उठायी है. उन्होंने कहा कि पश्चिम बंगाल में हाथी भगाओ दल में 16 सदस्य शामिल हैं, जबकि यहां के दल में मात्र छह सदस्य हैं. इससे जंगली हाथियों को गांवों से खदेड़ने में दिक्कत होती है.

मुआवजा भुगतान की मांग

स्थानीय ग्रामीणों ने जंगली हाथियों के उत्पात से प्रभावित ग्रामीणों के बीच मुआवजा का भुगतान जल्द करने की मांग भी की है. ग्रामीणों ने बताया कि इस क्षेत्र में आए दिन जंगली हाथियों के उत्पात से लोग प्रभावित होते रहते हैं. पिछले कुछ समय मे दर्जनों प्रभावित ग्रामीणों के बीच अभी तक मुआवजा राशि का भुगतान नहीं हो पाया है. ग्रामीणों ने कहा कि विभागीय अधिकारियों से इस संबंध में बातचीत करने पर कोई ठोस जवाब भी नहीं मिलता है.

Next Article

Exit mobile version