पटना : शिवसेना के साथ आये कांग्रेस तो महागठबंधन को एतराज नहीं

पटना : महाराष्ट्र की सियासत पर बिहार में राजनीतिक दलों नजर लगी रही. खासतौर से महागठबंधन के घटक दलों की. इन पार्टियों का कहना है कि भाजपा के खिलाफ कांग्रेस अगर शिवसेना के साथ जाती है, तो ऐसा स्टैंड लेने में कोई हर्ज नहीं है. इन पार्टियों को लग रहा है कि भाजपा से नाता […]

By Prabhat Khabar Print Desk | November 12, 2019 8:29 AM
पटना : महाराष्ट्र की सियासत पर बिहार में राजनीतिक दलों नजर लगी रही. खासतौर से महागठबंधन के घटक दलों की. इन पार्टियों का कहना है कि भाजपा के खिलाफ कांग्रेस अगर शिवसेना के साथ जाती है, तो ऐसा स्टैंड लेने में कोई हर्ज नहीं है.
इन पार्टियों को लग रहा है कि भाजपा से नाता तोड़कर शिवसेना बाहर हुई है तो कांग्रेस और एनसीपी को मिलकर महाराष्ट्र में सरकार बनाने की दिशा में जाना चाहिए. महाराष्ट्र में शिवसेना की सरकार बनने में कांग्रेस की मदद से बिहार में महागठबंधन के घटक दलों में खुशी है. भाजपा और उसके समान विचारधारा वाले दल के साथ परहेज रखने वाली पार्टी राजद ने भी दबी जुबां यह कहा कि शिवसेना के अलग होने से यह साबित हो गया कि भाजपा की ताकत दरक रही है.
पार्टी नेताओं का मानना है कि जिस प्रकार एक समय कांग्रेस के खिलाफ सभी छोटे-बड़े दल एकजुट हो रहे थे, उसी तरह का माहौल अब भाजपा के खिलाफ देश भर में बनता जा रहा है. शिवसेना ने हिम्मत दिखायी है और उसके विधायकों ने पैसों के सामने बिकने से मना कर दिया है. राजद का तर्क है कि हो सकता है भाजपा से अलग होकर शिवसेना की नीतियों में भी बदलाव आयेगा और वह नरम रुख वाली पार्टी साबित होगी.
राजद के प्रदेश डाॅ रामचंद्र पूर्वे ने संयमित लहजे में कहा कि महाराष्ट्र में कांग्रेस की रणनीति अलग है. बिहार में कांग्रेस हमारे साथ है. हमारा मजबूत गठजोड़ है. लिहाजा शिवसेना के साथ उसके अब क्या रिश्ते हैं? इस पर पार्टी की कोई राय नहीं है. बिहार में हम साथ-साथ हैं.
महाराष्ट्र में कोई पार्टी मिलकर सरकार बनाये: उपेंद्र
रालोसपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा ने महाराष्ट्र चुनाव में शिवसेना, कांग्रेस व एनसीपी के द्वारा सरकार बनाने पर कहा कि जब किसी पार्टी को बहुमत नहीं मिला और भाजपा-शिवसेना सरकार नहीं बना सकी. ऐसे में दोबारा चुनाव होने या राष्ट्रपति शासन लागू करने से बेहतर है कि कोई पार्टी मिल कर सरकार बनाये. किसी ने भी आगे बढ़ का सरकार बनाने की पहल की है, तो अच्छा कदम है.
बीजेपी के अहंकार से हुई समस्या : बीएल वैस्यंत्री
महाराष्ट्र में शिवसेना, कांग्रेस व एनसीपी के द्वारा गठबंधन में सरकार बनाने पर हम के प्रदेश अध्यक्ष बीएल वैस्यंत्री ने कहा कि बीजेपी ने अपने अहंकार के कारण शिवसेना को दरकिनार करने का काम किया, जबकि शिवसेना महाराष्ट्र में शुरू से ही प्रमुख पार्टी रही है. वैस्यंत्री ने कहा कि भाजपा के अहंकार के कारण कांग्रेस व एनसीपी को फायदा हुआ है.
महाराष्ट्र में वैकल्पिक सरकार बनी तो स्वागत : मदन मोहन झा
महाराष्ट्र में गैर भाजपा सरकार के गठन को लेकर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष डाॅ मदन मोहन झा ने कहा है कि यह वैकल्पिक प्रक्रिया के तहत उठाया गया कदम है. यह राज्यपाल का दायित्व है कि वह जनता के हित में सरकार का गठन करे. अगर इस तरह की पहल होती है तो स्वागत योग्य कदम है.
राज्यपाल द्वारा पहले भाजपा को सरकार के गठन का प्रस्ताव दिया गया. भाजपा सरकार बनाने में विफल रही तो राज्यपाल को वैकल्पिक सरकार गठित करना था.

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