जयंती पर याद किये गये अंग्रेजों के प्रथम शत्रु राजा नारायण सिंह

उनकी जीवनी को पाठ्यक्रम में शामिल करने की उठी मांग

By SUJIT KUMAR | November 12, 2025 4:37 PM

उनकी जीवनी को पाठ्यक्रम में शामिल करने की उठी मांग प्रतिनिधि, औरंगाबाद ग्रामीण. सामाजिक संस्था राजा नारायण सिंह मेमोरियल ट्रस्ट के तत्वावधान में महान स्वतंत्रता सेनानी व बिहार में अंग्रेजों के प्रथम शत्रु राजा नारायण सिंह की जयंती रमेश चौक स्थित राजा नारायण सिंह पार्क में मनायी गयी. ट्रस्ट के अध्यक्ष राजा नृपेश्वर नारायण सिंह की अध्यक्षता में आयोजित कार्यक्रम का संचालन जिला हिंदी साहित्य सम्मेलन के उपाध्यक्ष सुरेश विद्यार्थी ने किया. लोगों ने राजा नारायण सिंह की आदमकद प्रतिमा पर माल्यार्पण कर श्रद्धांजलि दी. मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित जिला विधिक संघ के अध्यक्ष विजय कुमार पांडेय और पूर्व जिप अध्यक्ष राघवेंद्र प्रताप नारायण सिंह ने कहा कि रियासत पवई के राजा नारायण सिंह ने बिहार में अंग्रेजों के खिलाफ पहली लड़ाई लड़ी थी. सोन नदी को पार कर रहे अंग्रेजों की सेना को उन्होंने डूबो कर मार दिया था. राजा नारायण सिंह पूरे भारत में आजादी की लड़ाई की पहली शुरुआत करने वाले नायक थे. डॉ ज्ञानेश्वर प्रसाद सिंह व चंद्रप्रकाश विकास ने कहा की राजा नारायण सिंह की जयंती को राजकीय समारोह के रूप में मनायी जानी चाहिए. उनकी जयंती के दिन औरंगाबाद में राजकीय अवकाश घोषित किया जाना चाहिए. साथ ही यह भी कहा कि राजा नारायण सिंह की जीवनी को सरकारी विद्यालयों के शैक्षिक पाठ्यक्रम में भी शामिल किया जाना चाहिए. मौके पर एपीपी धर्मराज शर्मा, मनीष कुमार सिंह, पृथ्वीराज चौहान ट्रस्ट के सचिव स्वर्णजीत कुमार सिंह, अधिवक्ता अशोक कुमार सिंह व मंटू सिंह दीपक कुमार सिंह आदि उपस्थित रहे.

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