जिले के 76 प्रत्याशियों के भाग्य पर आज मुहर लगायेंगे मतदाता

औरंगाबाद जिले की सभी छह विधानसभा सीटों पर सुबह सात बजे से मतदान

By SUJIT KUMAR | November 10, 2025 5:06 PM

औरंगाबाद जिले की सभी छह विधानसभा सीटों पर सुबह सात बजे से मतदान

किसका होगा मंगल व किसका अमंगल, 14 नवंबर को होगा फैसला

जिले की सभी विस सीटों पर महागठबंधन व एनडीए के बीच सीधी टक्कर

प्रतिनिधि, औरंगाबाद कार्यालय.

11 नवंबर मंगलवार. यह तारीख व दिन 2025 विधानसभा चुनाव के लिए बेहद अहम है. बिहार में नयी सरकार के गठन में इस तारीख और दिन की अहम भूमिका होगी. मंगलवार का दिन किसके लिए मंगल और किसके लिए अमंगल साबित होता है, यह तय शाम छह बजे तक मतदाता करेंगे. मतदाताओं का मत इवीएम में बंद हो जायेगा और फिर 14 नवंबर को हार-जीत या यूं कहे प्रत्याशियों के भाग्य का फैसला होगा. दरअसल, औरंगाबाद जिले की सभी छह विधानसभा सीटों के लिए मंगलवार को मतदान होगा. सुबह सात बजे से मतदान की प्रक्रिया प्रारंभ होगी. जिले के 2279 बूथों पर मतदान कराया जायेगा. इसके लिए प्रशासनिक स्तर से चुनावी तैयारियां पूरी कर ली गयी हैं. मतदान कर्मियों को इवीएम के साथ संबंधित बूथों के लिए रवाना कर दिया गया है.बता दें कि इस बार छह विधानसभा क्षेत्रों से 76 प्रत्याशी चुनावी मैदान में हैं. गोह विधानसभा क्षेत्र से 11, ओबरा विधानसभा क्षेत्र से सर्वाधिक 18, नवीनगर विधानसभा क्षेत्र से नौ, कुटुंबा विधानसभा क्षेत्र 11, औरंगाबाद विधानसभा क्षेत्र से 15 और रफीगंज विधानसभा क्षेत्र से 12 प्रत्याशी चुनावी मैदान में हैं. नौ नवंबर को चुनाव से संबंधित पोलिंग पार्टी का मिलान हो चुका है. 10 नवंबर यानी सोमवार को इवीएम एवं मतदान सामग्री मतदानकर्मियों को हस्तगत करा दी गयी है. सभी मतदान केंद्रों पर वेबकास्टिंग की व्यवस्था की गयी है. जीपीएस ट्रैकिंग सिस्टम और नियंत्रण कक्ष 24 घंटे कार्यरत रहेंगे.

आमने-सामने की टक्करऔरंगाबाद जिले की सभी छह विधानसभा सीटों पर एनडीए और महागठबंधन के उम्मीदवारों के बीच सीधी टक्कर है. गोह से राजद प्रत्याशी अमरेंद्र कुमार और भाजपा प्रत्याशी डॉ रणविजय कुमार, ओबरा से राजद प्रत्याशी ऋषि कुमार और लोजपा प्रत्याशी प्रकाश चंद्र, नवीनगर से राजद प्रत्याशी आमोद कुमार सिंह और जदयू प्रत्याशी चेतन आनंद, कुटुंबा से कांग्रेस प्रत्याशी राजेश कुमार और हम प्रत्याशी ललन राम, औरंगाबाद से भाजपा प्रत्याशी त्रिविक्रम नारायण सिंह और कांग्रेस प्रत्याशी आनंद शंकर सिंह तथा रफीगंज विधानसभा क्षेत्र से राजद प्रत्याशी गुलाम शाहिद एवं जदयू प्रत्याशी प्रमोद कुमार सिंह आमने-सामने हैं. मतदाताओं का भरोसा व आशीर्वाद किन्हें मिलता है, इसका फैसला 14 नवंबर को होगा, लेकिन फैसले से पूर्व मतदान प्रतिशत और मतदाताओं के रुझान जीत-हार के गणित को स्पष्ट कर सकते हैं.

बूथों पर सीसीटीवी से होगी निगरानी, बोगस वोटर पर नजरमंगलवार को होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर जिले में 2279 बूथों पर मतदान कराया जायेगा. सभी बूथों पर सख्त सुरक्षा व्यवस्था होगी. 100 मीटर की परिधि में अनावश्यक लोगों के प्रवेश पर रोक रहेगी. कर्मियों के लिए बूथ पर ही खाने-पीने की व्यवस्था बनायी गयी है. सीसीटीवी कैमरे की निगरानी में मतदान कराया जायेगा. इस बार सभी मतदान केंद्रों पर वेबकास्टिंग की व्यवस्था की गयी है. मतदान केंद्रों पर मतदाता मोबाइल भी रख सकते हैं, लेकिन इसके लिए बाहर में व्यवस्था की गयी है. बोगस वोटरों पर निगरानी रखी जायेगी. एक भी वोटर बोगस देने की कोशिश करेगा, तो उसे उसी जगह पर हिरासत में ले लिया जायेगा.

402 बूथों पर शाम पांच बजे तक मतदानऔरंगाबाद जिले के 402 बूथों को अति संवेदनशील मतदान केंद्र के रूप में चिह्नित किया गया. यहां शाम पांच बजे तक वोटिंग की प्रक्रिया चलेगी. इसके अलावे अन्य बूथों पर शाम छह बजे तक मतदान कराया जायेगा. सभी छह विधानसभा क्षेत्रों के लिए 215 सेक्टर दंडाधिकारियों को तैनात किया गया है. 52 जोनल दंडाधिकारी बनाये गये हैं, जबकि 12 सुपर जोनल दंडाधिकारी बनाये गये हैं. 22 आदर्श मतदान केंद्र और 62 सखी मतदान केंद्र बनाये गये हैं. अभी इतना, फिर बाद में

मंगलवार को औरंगाबाद जिले की सभी छह विधानसभा सीटों पर चुनाव कराया जायेगा. सोमवार का दिन यानी चुनाव प्रचार के पहले बेहद अहम माना गया. अहले सुबह से ही घर-घर प्रत्याशियों के समर्थकों की दस्तक हुई. कुछ जगहों पर तो प्रत्याशी के समर्थक यह कहते हुए सुने गये कि जहां देना है, वह समझ गये होंगे आप. अभी इतना है, फिर बाद में. विधायक भी आपका होगा, तो समझ रहे हैं कि आगे का भविष्य क्या है. 10 हजारिया पर लोगों की नजर सरकारी योजना के तहत 10 हजार रुपये प्राप्त करने वाली महिलाओं के वोट को साइलेंट माना जा रहा है. किसी भी प्रत्याशी को जिताने व हराने में महिलाओं की अहम भूमिका है. वैसे बिहार में महिला वोटर राजनीति की रणनीति व बिसात बैठाते आये हैं. सबसे अधिक चर्चा इस चुनाव में आधी आबादी की हो रही है.

किसी को तीन, तो किसी को पांच हजार मतदान केंद्रों पर रहने वाले विभिन्न पार्टियों के पोलिंग एजेंट व समर्थकों के लिए अलग से दर निर्धारित की गयी है. लोगों को मैनेज करने के लिए भी पैसों का खेल हुआ. किसी पोलिंग एजेंट को तीन हजार, किसी को पांच हजार, तो किसी को 10 हजार रुपये दिये जाने की चर्चा है. यही पोलिंग एजेंट बूथ के समीप खान-पान की व्यवस्था बनायेंगे. नाराज वोटरों को भी मनाने के लिए ये अपनी भूमिका निभायेंगे. चर्चा यह भी है कि स्पॉट पर भी कुछ लोग मुद्रा लेकर रहेंगे, ताकि वोटरों को प्रभावित किया जा सके. पूरी रात अंधेरे में चला प्रचार-प्रसारचुनावी प्रचार थमने के बाद रविवार की पूरी रात और सोमवार को पूरे दिन लुक-छिपकर प्रचार-प्रसार का दौर चला. अलग-अलग टीमों में बंटकर विभिन्न पार्टियों के समर्थक घर-घर तक पहुंचे. शुक्रवार की पूरी रात ग्रामीण इलाकों में घूम-घूमकर लोग वोटिंग करने की अपील करते रहे.

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