Railway: तत्काल टिकट बुकिंग करने वाले तीन करोड़ से ज्यादा फर्जी आईडी निष्क्रिय
रेलवे ने साइबर सुरक्षा को और मजबूत करने के लिए अपने सिस्टम में बहुस्तरीय सुरक्षा परतें विकसित की हैं, जिनमें नेटवर्क फायरवॉल, इंट्रूज़न प्रिवेंशन सिस्टम, वेब एप्लिकेशन फायरवॉल और एप्लिकेशन डिलीवरी कंट्रोलर शामिल हैं.
Railway: भारतीय रेलवे ने अपने टिकट आरक्षण बुकिंग में बदलाव करते हुए तीन करोड़ से ज्यादा फर्जी आईडी को निष्क्रिय किया है. आरक्षण प्रणाली को और अधिक मजबूत करने की दिशा में ठोस कदम उठाते हुए रेलवे ने तत्काल टिकट बुकिंग के लिए आधार आधारित ओटीपी लागू किया है. इससे पैसेंजर के मोबाइल पर ओटीपी आता है और ओटीपी को डालने के बाद ही टिकट बुक होता है.
रेल, सूचना एवं प्रसारण तथा इलेक्ट्रॉनिकी एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने लोकसभा में एक लिखित उत्तर में बताया कि तत्काल टिकट बुकिंग में दुरुपयोग रोकने के लिए रेलवे ने आधार आधारित ओटीपी सत्यापन को चरणबद्ध तरीके से लागू किया है. 4 दिसंबर 2025 तक 322 रेलगाड़ियों में ऑनलाइन तत्काल बुकिंग के लिए यह सुविधा शुरू हो चुकी है. आरक्षण काउंटरों पर भी इसे लागू किया जा रहा है और 211 रेलगाड़ियों में यह प्रणाली पहले ही शुरू कर दी गई है.
अवैध टिकट बुकिंग नेटवर्क पर प्रहार
इन उपायों का सीधा फायदा पैसेंजर को मिला है. उन्हें अब तत्काल टिकट आसानी से मिल रहा है, साथ ही तत्काल टिकट का दुरुपयोग करने वाले ओटीपी के कारण ऐसा कर नहीं पा रहे हैं. इसके कारण ओटीपी लागू की गयी 322 गाड़ियों में से 65 प्रतिशत गाड़ियों में तत्काल टिकट उपलब्धता का समय बढ़ा है. वहीं, देश की 96 लोकप्रिय गाड़ियों के विश्लेषण में 95 प्रतिशत गाड़ियों में तत्काल टिकट मिलने का समय पहले से अधिक दर्ज किया गया है.वैष्णव ने बताया कि जनवरी 2025 से अब तक 3.02 करोड़ संदिग्ध यूज़र आईडी को निष्क्रिय किया गया है, जिससे अवैध टिकट बुकिंग नेटवर्क पर कड़ा प्रहार हुआ है. रेलवे ने बुकिंग प्रक्रिया को सुचारू बनाने के लिए उन्नत एंटी-बॉट समाधान भी लागू किए हैं, जिससे फर्जी उपयोगकर्ताओं की गतिविधियों पर रोक लगी है.
मजबूत हुआ साइबर सुरक्षा
रेलवे ने साइबर सुरक्षा को और मजबूत करने के लिए अपने सिस्टम में बहुस्तरीय सुरक्षा परतें विकसित की हैं, जिनमें नेटवर्क फायरवॉल, इंट्रूज़न प्रिवेंशन सिस्टम, वेब एप्लिकेशन फायरवॉल और एप्लिकेशन डिलीवरी कंट्रोलर शामिल हैं. पूरी आरक्षण प्रणाली एक समर्पित सीसीटीवी निगरानी वाले, एंड-टू-एंड एन्क्रिप्टेड डेटा सेंटर में संचालित होती है, जिसे आईएसओ 27001 प्रमाणन प्राप्त है.
रेलटेल द्वारा डीप और डार्क वेब मॉनिटरिंग, डिजिटल रिस्क प्रोटेक्शन और थ्रेट इंटेलिजेंस जैसी उन्नत सेवाएं प्रदान की जा रही हैं, जिससे रेलवे संभावित साइबर हमलों के प्रति अधिक संवेदनशील और तत्काल प्रतिक्रिया करने में सक्षम हुआ है.
रेल मंत्री ने कहा कि रेलवे का उद्देश्य टिकट बुकिंग प्रक्रिया को पूरी तरह पारदर्शी बनाते हुए आम यात्रियों को अधिक सुविधा और सुरक्षा प्रदान करना है. भारतीय रेल के इन कदमों से टिकट बुकिंग प्रणाली पहले की तुलना में काफी अधिक सुरक्षित और प्रभावी हो गई है, जिससे वास्तविक यात्रियों को तत्काल टिकट प्राप्त करने में महत्वपूर्ण राहत मिली है.
