श्रीलंका में प्रदर्शनकारियों ने महिंदा राजपक्षे के घर में लगाई आग, हिंसा में एक सांसद की मौत

खबर में कहा गया है कि पुलिस ने पानी की बौछारें छोड़ने के लिए वाहन बुलाए हैं, लेकिन सरकार विरोधी प्रदर्शनकारी वाहनों पर भी हमला कर रहे हैं. प्रदर्शनकारियों ने बादुल्ला जिला के सांसद तिस्सा कुटियाराच के आवास पर भी हमला किया और बाद में आग लगा दी.

By Prabhat Khabar Digital Desk | May 10, 2022 9:06 AM

कोलंबो : श्रीलंका में आर्थिक संकट बना हुआ है. इस बीच प्रधानमंत्री महिंदा राजपक्षे ने सोमवार को अपने पद से इस्तीफा दे दिया है. उधर, खबर यह भी है कि प्रदर्शनकारियों ने महिंदा राजपक्षे के पैतृक आवास में आग लगा दी है. इसके साथ ही, उन्होंने सरकारी वाहनों पर ताबड़तोड़ हमले भी किए हैं. प्रदर्शनकारियों का आरोप है कि राजपक्षे भाइयों की नीतियों की वजह से ही श्रीलंका आज आर्थिक संकट के दौर से गुजर रहा है. बता दें कि श्रीलंका के राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे और प्रधानमंत्री राजपक्षे दोनों सगे भाई हैं.

मंत्रियों और सांसदों की संपत्ति नष्ट

श्रीलंका के प्रमुख अखबार ‘डेली मिरर’ की एक रिपोर्ट के अनुसार, वीडियो फुटेज में दिखा है कि हंबनटोटा शहर के मेदामुलाना में महिंदा राजपक्षे और उनके छोटे भाई तथा राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे के आवास में आग लगी दी. इससे पहले, प्रदर्शनकारियों ने सत्तारूढ़ गठबंधन के मंत्रियों और सांसदों की कई संपत्तियों को नष्ट कर दिया. श्रीलंकाई मीडिया ने यह भी बताया कि कोलंबो में प्रधानमंत्री के आधिकारिक आवास ‘टेंपल ट्रीज’ के पिछले गेट के पास आग लग गई.

आगजनी में सांसद का घर पूरी तरह से तबाह

खबर में कहा गया है कि पुलिस ने पानी की बौछारें छोड़ने के लिए वाहन बुलाए हैं, लेकिन सरकार विरोधी प्रदर्शनकारी वाहनों पर भी हमला कर रहे हैं. प्रदर्शनकारियों ने बादुल्ला जिला के सांसद तिस्सा कुटियाराच के आवास पर भी हमला किया और बाद में आग लगा दी. पुट्टलम के सांसद संथा निशांत का घर आगजनी से पूरी तरह तबाह हो गया.

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कोलंबो में कर्फ्यू लगाने के बाद हिंसक झड़प में सांसद की मौत

रिपोर्ट में बताया गया है कि आगजनी और हमले तब हुए, जब कोलंबो में महिंदा राजपक्षे समर्थकों और सरकार विरोधी प्रदर्शनकारियों के बीच हिंसक झड़पों के बाद कर्फ्यू लगा दिया गया था. राजधानी में हुई हिंसा में सत्ताधारी पार्टी के एक सांसद समेत तीन लोगों की मौत हो गई और 150 से ज्यादा लोग घायल हो गए. पिछले महीने से बढ़ती कीमतों और बिजली कटौती को लेकर विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं. ब्रिटेन से 1948 में स्वतंत्रता प्राप्त करने के बाद श्रीलंका गंभीर आर्थिक संकट का सामना कर रहा है.

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