Iran: स्कूल जाने से रोकने के लिए छात्राओं को दिया जा रहा जहर, अबतक 100 से ज्यादा की हो चुकी है मौत

ईरान में छात्राओं को स्कूल जाने से रोकने के लिए उनके खाने में जहर मिला दिया जा रहा है. जहरीला खाना खाने की वजह से वहां अभी तक 100 से ज्यादा लड़कियों की जान जा चुकी है. जहर देने की यह घटनाएं नवंबर के महीने में शुरू हुई है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 27, 2023 11:01 AM

Iran Girls Poisoned: ईरान से बीते कई महीनों से छात्राओं को जहर देने की घटना सामने आने लगी है. सामने आयी जानकारी की माने तो इन सभी छात्राओं को जहर दिया जा रहा है ताकि उन्हें स्कूल जाने से रोका जा सके. जहर देने की यह घटनाएं नवंबर के महीने से शुरू हुई है और अब तक ऐसी घटनाओं में 100 से ज्यादा छात्राओं की मौत हो चुकी है. जानकारी के लिए बता दें यह घटनाएं मुख्य तौर पर कोम शहर में घट रही हैं.

उप स्वास्थ्य मंत्री ने दी जानकारी

इस घटना की जानकारी देते हुए ईरान के उप स्वास्थ्य मंत्री ने बताया कि- कुछ लोग लड़कियों की शिक्षा को बंद करने के उद्देश्य से पवित्र शहर क़ोम में स्कूली छात्राओं को ज़हर दे रहे थे. नवंबर के अंत से, मुख्य रूप से तेहरान के दक्षिण में कोम में स्कूली छात्राओं के बीच श्वसन विषाक्तता के सैकड़ों मामले सामने आए हैं, जिनमें से कुछ को अस्पताल में इलाज की भी जरुरत है.

जान बूझकर दिया जा रहा जहर

घटना पर बात करते हुए उप स्वास्थ्य मंत्री यूनुस पनाही ने बताया कि- छात्राओं को जहर जान बूझकर दिया जा रहा है. पनाही के हवाले से जानकारी देते हुए समाचार एजेंसी ने बताया कि- क्यूम स्कूलों में कई छात्रों को जहर दिए जाने के बाद, यह पाया गया कि कुछ लोग चाहते थे कि सभी स्कूलों, खासकर लड़कियों के स्कूलों को बंद कर दिया जाए. आगे बताते हुए उन्होंने कहा कि- इस मामले में पुलिस ने अभी तक किसी को भी गिरफ्तार नहीं किया है.

14 फरवरी को बीमार पड़े छात्र

14 फरवरी के दिन बीमार छात्रों के माता-पिता अधिकारियों से “स्पष्टीकरण की मांग” करने के लिए शहर के गवर्नर के बाहर इकट्ठा हुए थे. इस बात की जानकारी समाचार एजेंसी IRNA ने दी. जानकारी के लिए बता दें पिछले हफ्ते अभियोजक जनरल मोहम्मद जाफर मोंटाज़ेरी ने घटनाओं की न्यायिक जांच के लिए आदेश जारी किये थे.

16 दिसंबर के बाद बढ़ी घटनाएं

जानकारी के लिए बता दें महिलओं के लिए स्ट्रिक्ट ड्रेस कोड के कथित उल्लंघन के लिए 22 वर्षीय ईरानी कुर्द महसा अमिनी की हिरासत में 16 दिसंबर को हुई मौत के बाद से ही देश में छात्राओं को जहर देने को घटनाएं बढ़कर सामने आयी है.

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