धोखाधड़ी के मामले में इडी की कार्रवाई जब्त की गयी 1.56 करोड़ की संपत्तियां
प्रवर्तन निदेशालय (इडी) के कोलकाता जोनल कार्यालय ने मेसर्स टीएम ट्रेडर्स, मेसर्स केके ट्रेडर्स और टीपी ग्लोबल एफएक्स/आइएक्स ग्लोबल से जुड़े करोड़ों रुपये की धोखाधड़ी के मामले में बड़ी कार्रवाई की है. इडी ने धनशोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए), 2002 के तहत लगभग 1.56 करोड़ रुपये (1,56,17,640 रुपये) की संपत्तियां जब्त और कुर्क की हैं.
कोलकाता.
प्रवर्तन निदेशालय (इडी) के कोलकाता जोनल कार्यालय ने मेसर्स टीएम ट्रेडर्स, मेसर्स केके ट्रेडर्स और टीपी ग्लोबल एफएक्स/आइएक्स ग्लोबल से जुड़े करोड़ों रुपये की धोखाधड़ी के मामले में बड़ी कार्रवाई की है. इडी ने धनशोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए), 2002 के तहत लगभग 1.56 करोड़ रुपये (1,56,17,640 रुपये) की संपत्तियां जब्त और कुर्क की हैं. केंद्रीय जांच एजेंसी ने मंगलवार को यह जानकारी दी. बताया गया कि मुंबई, बेंगलुरु, जालंधर, इंदौर और कोलकाता के विभिन्न स्थानों पर तलाशी अभियान चलाया गया था. इस दौरान, करीब 6,42,973 रुपये की विदेशी मुद्राएं (जैसे यूएसडी, सिंगापुर डॉलर, दिरहम), 55,74,667 रुपये मूल्य का सोना, लगभग 94 लाख रुपये का बैंक बैलेंस, संपत्ति के दस्तावेज, कई डिजिटल डिवाइस और अन्य आपत्तिजनक दस्तावेज बरामद हुए, जिन्हें जब्त व कुर्क किया गया है. इडी ने टीएम ट्रेडर्स और मेसर्स केके ट्रेडर्स, टीपी ग्लोबल एफएक्स/आइएक्स ग्लोबल व अन्य के खिलाफ कोलकाता पुलिस, महाराष्ट्र पुलिस और गुजरात पुलिस द्वारा दर्ज की गयी प्राथमिकियों के आधार पर जांच शुरू की थी. भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआइ) के अनुसार, टीपी ग्लोबल एफएक्स वेबसाइट न तो आरबीआइ के साथ पंजीकृत है और न ही इसके पास विदेशी मुद्रा व्यापार के लिए आरबीआइ का कोई प्राधिकरण है. आरबीआइ ने 7 सितंबर, 2022 को टीपी ग्लोबल एफएक्स सहित एक अलर्ट सूची भी जारी की थी, जिसमें जनता को अनधिकृत ट्रेडिंग प्लेटफॉर्म के खिलाफ आगाह किया गया था. जांच से पता चला है कि प्रसेनजीत दास, तुषार पटेल और शैलेश कुमार पांडेय जैसे व्यक्तियों ने कई फर्जी कंपनियों का उपयोग करके निवेशकों को टीपी ग्लोबल एफएक्स के माध्यम से विदेशी मुद्रा व्यापार निवेश पर उच्च रिटर्न का वादा करके एक सुनियोजित धोखाधड़ी योजना में फंसाया था.इसके अलावा, एफएक्स ग्लोबल के निदेशक और प्रमोटर, विराज सुहास पाटिल और जोसेफ मार्टिनेज ने सक्रिय रूप से टीपी ग्लोबल एफएक्स को अपने पसंदीदा ब्रोकर के रूप में बढ़ावा दिया. एफएक्स ग्लोबल के सदस्य और उपयोगकर्ता अपनी विदेशी मुद्रा व्यापार गतिविधियों के लिए टीपी ग्लोबल एफएक्स ब्रोकरेज सेवाओं का उपयोग करते थे.
इडी की जांच में आगे पता चला कि निवेशकों से एकत्र किए गए धन को तुषार पटेल और उनके सहयोगियों के नाम पर व्यक्तिगत संपत्ति खरीदने के लिए डायवर्ट किया गया था. यह काम नकली खातों के माध्यम से धन के हस्तांतरण और फुल-फ्लेज्ड मनी चेंजर्स (एफएफएमसी) की सेवाओं को शामिल करने जैसे जटिल तरीकों से किया गया था.इससे पहले इडी ने शैलेश कुमार पांडेय, प्रसेनजीत दास और विराज सुहास पाटिल को गिरफ्तार किया था और करीब 270 करोड़ रुपये की संपत्ति कुर्क की थी. गिरफ्तार आरोपियों के खिलाफ दो अभियोजन शिकायतें पहले ही दायर की जा चुकी हैं, और स्पेशल पीएमएलए कोर्ट ने धन शोधन के अपराध का संज्ञान लिया है.
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