Ankita Bhandari Murder Case: मेरठ के दंपती ने खोले राज, जानिए रिजॉर्ट से भागने की इनकी पूरी कहानी

Ankita Bhandari Murder Case: ऋषिकेश स्थित वनंत्रा रिजॉर्ट के काले कारनामों से अब पर्दा उठने लगा है. इसी रिजॉर्ट में 19 वर्षीय रिसेप्शनिस्ट अंकिता भंडारी पर कथित तौर पर गलत काम करने के लिए दबाव डाला जा रहा था और बाद में वह मृत पाई गई.

By Samir Kumar | September 29, 2022 7:26 AM

Ankita Bhandari Murder Case: अंकिता भंडारी हत्याकांड को लेकर सुर्खियों में आए ऋषिकेश स्थित वनंत्रा रिजॉर्ट के काले कारनामों से अब पर्दा उठने लगा है. मेरठ की एक 27 वर्षीय महिला और उसके 29 वर्षीय पति ने दो महीने पहले उत्तराखंड के इस कुख्यात रिजॉर्ट में भयावह गतिविधियों को देखकर वहां से भागने का साहस जुटाया और दोनों इसमें सफल भी हुए. बताते चलें कि इसी रिजॉर्ट में 19 वर्षीय रिसेप्शनिस्ट अंकिता भंडारी पर कथित तौर पर गलत काम करने के लिए दबाव डाला जा रहा था और बाद में वह मृत पाई गई.

दंपती ने बताया, क्यों रिजॉर्ट को छोड़ा

टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के मुताबिक, ऋषिता और उनके पति विवेक भारद्वाज दोनों रिजॉर्ट से बाहर निकले और 10 किमी तक चलते रहे. आगे जाकर उन्होंने एक बस पकड़ नहीं ली और घर के लिए निकल गए. दंपती को छह महीने पहले सोशल मीडिया पर एक पोस्ट के जरिए रिजॉर्ट में नौकरी मिली थी. जहां ऋषिता रिजॉर्ट के फ्रंट ऑफिस में काम करती थीं. वहीं, विवेक हाउसकीपिंग डिपार्टमेंट में थे. हालांकि, एक महीने के भीतर ही दोनों ने कथित गलत कामों को देखने के बाद रिजॉर्ट को छोड़ने का फैसला किया.

नौकरी छोड़ने के बाद भी आए फोन

मुख्य आरोपी पुलकित आर्य के कथित गलत कामों को देखने के बाद दोनों ने नौकरी से इस्तीफा दे दिया. वह लड़कियों और ड्रग्स के साथ मेहमानों का मनोरंजन करता था. दंपती ने बताया कि हमने शामिल होने के एक महीने के भीतर छोड़ने का फैसला किया. हालांकि, जब हम मेरठ वापस घर गए, तो हमें दो अन्य आरोपियों अंकित गुप्ता और सौरभ भास्कर के फोन आने लगे. वे हमें एक सप्ताह से अधिक समय तक फोन करते रहे और हमें वापस आने का आग्रह करते रहे. उन्होंने वादा किया था कि सब कुछ ठीक हो जाएगा और हमारे बेहतर भविष्य को लेकर आश्वासन भी दिया.

वेतन भी रोका और मारपीट की

ऋषिता ने कहा कि हम रिजॉर्ट छोड़कर वापस घर चले गए, लेकिन उन्होंने अपनी अवैध गतिविधियों को जारी रखा. उन्होंने हमें हमारा वेतन देने से भी इनकार कर दिया और मुझे एक बार पीटा. मैंने स्थानीय पुलिस से संपर्क किया, जिन्होंने कोई मदद नहीं की. हमने हरिद्वार पुलिस से संपर्क करने की कोशिश की, लेकिन कोई मदद नहीं मिली. पुलिस हमें बताती रही कि यह इलाका उनके अधिकार क्षेत्र में नहीं आता है और हमें स्थानीय पटवारी से संपर्क करना चाहिए. हालांकि, पटवारी पुलकित और अन्य लोगों के साथ हाथ मिला कर हमारे उत्पीड़न में शामिल हो गया.

दंपती का बयान दर्ज करेगी एसआईटी

ऋषिता ने आरोप लगाते हुए कहा कि फर्जी चोरी के मामले में दोनों को माफी पत्र पर हस्ताक्षर करने के लिए मजबूर किए जाने के बाद उसे उसके पति के साथ बंधक बना लिया गया था. उन्होंने कहा, अगर हमने जाने के बारे में सोचा भी तो पत्र का इस्तेमाल हमारे खिलाफ किया जाएगा. हमने दो महीने पहले एक साहसी भागने का फैसला किया. उत्तराखंड पुलिस ने मंगलवार शाम एक आधिकारिक विज्ञप्ति में कहा, मामले की चल रही जांच में चार सदस्यीय एसआईटी मामले में दंपती का बयान दर्ज करेगी.

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